March 29, 2024

अपने नाम में मामूली सा बदलाव करके लाएं अपने भाग्य में चमत्कारिक बदलाव…

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-समझें नाम परिवर्तन का जीवन पर प्रभाव
नवीन समाचार, आस्था डेस्क, 21 अप्रैल 2023। (Bring miraculous change in your luck by making a minor change in your name) बॉलीवुड अदाकारा रानी मुखर्जी ने एक अंक ज्योतिषी की सलाह के पश्चात अपने नाम की अंग्रेजी वर्तनी में Rani Mukherji से Rani Mukerji परिवर्तित किया था। रानी के करियर को देखें, तो यह कह सकते हैं कि नाम के इस बदलाव का उनके करियर पर अच्छा प्रभाव पड़ा। इसी तरह अजय देवगन ने भी अपने नाम की अंग्रेजी स्पेलिंग ‘Ajay Devgan’ में से ‘A’ अक्षर को हटा कर ‘Ajay Devgn’ कर दिया. उसके बाद उनका करियर काफी फला फूला। इस तरह आप भी अपने नाम में मामूली से परिवर्तन करके अपना भाग्य बदल सकते हैं। यह भी पढ़ें : धनी बनना चाहते हैं तो जानें बाबा नीब करौरी द्वारा बताए धनी बनने के तीन उपाय

एक समय वह भी था जब लोग अपने नाम के बजाए काम पर अधिक ध्यान दिया करते थे, परंतु इस संबंध में लोगों की बदलती हुई प्रवृत्ति को देखकर लगता है कि अब उनके लिए नाम का महत्व पहले की अपेक्षा ज्यादा हो गया है। कईं बार आपने देखा या सुना होगा कि अधिकांश लोग अपने बच्चों एवं अन्य परिवारजनों के भाग्य के खराब होने का दोष उनके नाम को देते है। उनका मानना होता है कि नाम में परिवर्तन उनके भाग्य को सुधार कर सकता है। यह बात काफी हद तक सही भी है क्योंकि अंक ज्योतिष ज्ञान के अनुसार नाम में परिवर्तन करके भाग्य में लिखी समस्याओं से निदान प्राप्त करना संभव है। यह भी पढ़ें : नाम के पहले अक्षर से जानें किसी का भी भविष्य…

यही नहीं जिस घर में लोग रहते हैं, उस भवन का नाम, उसका नंबर और रंग भी उसमें रहने वाले लोगों के जीवन पर प्रभाव डालता है। यदि अनुकूल हो तो इससे वास्तु का शुभ फल कई गुना बढ़ जाता है और परिणाम चमत्कारी प्राप्त होते हैं। लड़कियों के नाम उनकी शादी के बाद उनके कुलनाम के साथ बदलते हैं तो इससे उनके भाग्य में परिवर्तन भी देखा जाता है। उज्जैन के ज्योतिर्विद पंडित दयानन्द शास्त्री इस बारे में ‘नवीन समाचार’ को बताया कि ज्योतिष में किसी भी जातक का नाम बहुत महत्वपूर्ण होता है। यह भी पढ़ें : जानिए अपनी हस्तरेखाओं से अपने जीवन के राज और अपने भविष्य की संभावनाएं…

नाम वह होता है जिसे सुनकर व्यक्ति या पशु जाग जाए या मुड़कर देखने लगे। व्यक्ति का नाम बार-बार बोला जाता है, इसलिए उसका बहुत प्रभाव व्यक्ति पर बहुत अधिक पड़ता है। यह भी पढ़ें : जानें गैर सामाजिक (अवैध) प्रेम या शारीरिक सम्बन्ध से जुड़े ग्रह योग और कारणों को…

ज्योतिषाचार्य पंडित दयानन्द शास्त्री के अनुसार ज्योतिष में नाम का केवल प्रथम अक्षर ही अधिक महत्वपूर्ण होता है, परंतु अंकशास्त्र में पूरे नाम की वर्तनी का महत्व होता है। इसलिए ही खासकर उच्च वर्ग के लोग अपने मूलांक और भाग्यांक को ध्यान में रखते हुए अपने नाम में बदलाव करते हैं। कई नायक-नायिकाओं ने अपने नाम में बड़े या मामूली बदलाव करके अपना भाग्य बदला है। यहां तक देखा गया है कि किसी भवन का नाम या नंबर बदलने से भी उसमें रहने वाले लोगों के जीवन में परिवर्तन हुआ है। यह भी पढ़ें : नैनीताल के हरदा बाबा-अमेरिका के बाबा हरिदास

पंडित शास्त्री के अनुसार यूं तो बच्चे के जन्म के समय बच्चे की राशि के अनुसार ही नाम रखा जाना शुभ होता है जिससे जन्म पत्री व ग्रह-नक्षत्रों का सही सकारात्मक प्रभाव व्यक्ति पर पडे। लेकिन नाम में कुछ परिवर्तन करके अपने भाग्य व जीवन में महत्वपूर्ण परिवर्तन किया जा सकता है। यह भी पढ़ें : भगवान राम की नगरी के समीप माता सीता का वन ‘सीतावनी’

ज्योतिष के अनुसार अगर नाम मेष राशि से संबंधित है तो राशि का स्वामी मंगल ग्रह होने की वजह से ऐसे लोग निडर, ऊर्जावान होते हैं और दूसरे लोगों को आकर्षित करने वाले भी होते हैं। यदि वृषभ राशि से संबंधित नाम हो तो ऐसे व्यक्ति शुक्र ग्रह के प्रभाव के कारण भौतिक सुख-सुविधा पसंद करने वाले होते हैं ओर आराम पसंद जीवन जीना चाहते हैं। मिथुन राशि से जुडे नाम वाले लोग अपने जीवन को लेकर काफी सतर्क रहते हैं और लोगों से मधुर संबंध बनाए रखते हैं। यह भी पढ़ें : चर्चा में देश की सबसे महंगी अभिनेत्री रश्मिका मंदाना

पंडित शास्त्री के अनुसरार भवन के नाम के साथ साथ उसके नंबर का भी बहुत ज्यादा महत्व होता है। आपके घर के नंबरों को आपस में जोड़ें, यदि जोड़ इकाई से अधिक आता है तो फिर से उन अंकों को भी तब तक जोड़ें जब तक अंकों का योग इकाई के अंक में न आ जाए। फिर देखें तो अंत में आये एकल अंक के स्वामी ग्रह अगर आपकी कुण्डली में शुभ हैं तो यह नंबर भी आपके लिए बहुत शुभ रहेगा। इसी तरह यदि व्यक्ति के नाम का अंक भी भाग्यांक या मूलांक से मिल जाए तो जीवन में बहुत उन्नति होती है। यह भी पढ़ें : नैनीताल-कुमाऊं में फिल्माई गई फिल्मों और गानों का पूरा लेखा-जोखा

अंकशास्त्र के अनुसार व्यक्ति कर्म तो करता है परंतु उसका भाग्य नहीं बदल पाता। मूलांक व भाग्यांक तो अपरिवर्तनशील हैं परंतु सही ढंग से नामांक, मूलांक व भाग्यांक का मेल हो जाए तो व्यक्ति के लिए सफलता के द्वार खुल सकते हैं। यह भी पढ़ें : सच्चा न्याय दिलाने वाली माता कोटगाड़ी: जहां कालिया नाग को भी मिला था अभयदान

ज्योतिषाचार्य पंडित दयानन्द शास्त्री ने बताया कि आपके लिए अपना मूलांक व भाग्यांक जानने की सरल विधि यह है कि जन्म तारीख का योग करें वह आपका मूलांक व जन्म तारीख, माह तथा वर्ष के अंक का योग भाग्यांक कहलाता है। यह भी पढ़ें : भद्रकालीः जहां वैष्णो देवी की तरह त्रि-पिंडी स्वरूप में साथ विराजती हैं माता सरस्वती, लक्ष्मी और महाकाली 

जैसे 3, 12, 21, 30 जन्म तारीख वालों का मूलांक 3 होगा और 18-01-1926 जन्म तारीख वाले का भाग्यांक इसमें शामिल सभी अंकों को जोड़कर 1 होगा। क्यों इसमें शामिल सभी अंकों का योग करने से 28 अंक आता है, और 2 व 8 को जोड़ने से 10 और 10 के 1 व शून्य को जोड़ने से मूलांक 1 आता है। यह भी पढ़ें : संचार, समाचार लेखन, संपादन, विज्ञापन, टेलीविजन, रेडियो, फीचर व ब्रांड प्रबंधन

पंडित शास्त्री के अनुसार अधिकतर जीवन में जूझ रहे लोगों में प्रायः तीनों अंकों में तालमेल नहीं होता है। जन्मकुंडली में ग्रह-नक्षत्र मनुष्य का भाग्य दर्शाते हैं जो उसके पूर्व जन्मों के कर्मों के अनुसार बनता है। यदि मूलांक, भाग्यांक व नामांक में तालमेल न हो तो हम नामांक बदल सकते हैं, क्योंकि जन्मांक व भाग्यांक तो जन्म लेते ही निश्चित हो जाते हैं। केवल नाम ही है, जिसे बदला जा सकता है। यदि आवश्यक हो तो अपना नाम बदलें व उसका लाभ उठाएं। यह भी पढ़ें : पाषाण देवी शक्तिपीठ: जहां घी, दूध का भोग करती हैं सिंदूर सजीं मां वैष्णवी

पंडित शास्त्री के अनुसार, अंकज्योतिष अंकों का गणित नहीं, बल्कि अंकों का विज्ञान है। अंक ज्योतिष का आधार वास्तव में नौ ग्रह ही हैं। अंग्रेजी के प्रत्येक अक्षर का तथा प्रत्येक ग्रह का भी एक अंक निर्धारित किया गया है। प्य्थोगोरियन तकनीक अनुसार अंग्रेजी के अंकों को निम्नानुसार नामांक दिए गए हैं: A-1, B-2, C-3, D-4, E-5, F-6, G-7, H-8, I-9, J-1, K-2, L-3, M-4, N-5, O-6, P-7, Q-8, R-9, S-1, T-2, U-3, V-4, W-5, X-6, Y-7, Z-8। यह भी पढ़ें : नागेशं दारूका वने… ज्योर्तिलिंग जागेश्वर : यहीं से शुरू हुई थी शिवलिंग की पूजा, यहाँ होते हैं शिव के बाल स्वरुप की पूजा

इसी तरह हर अंक पर अलग गृह का आधिपत्य होता है। जैसे 1 पर सूर्य, 2 पर चंद्र, 3 पर बृहस्पति, 4 पर राहू, 5 पर बुध, 6 पर शुक्र, 7 पर केतु, 8 पर शनि व 9 पर मंगल। इनके अनुसार अपने पूरे नाम का नामांक भी निकाला जा सकता है। और यदि मूलांक या भाग्यांक के अनुसार नामांक भी हो तो जीवन में उन्नति की संभावना अधिक रहती है। यह भी पढ़ें : महेश खान: यानी प्रकृति और जैव विविधता की खान

इसके लिए किसी ज्योतिषी या नामांक, मूलांक व भाग्यांक जानने वाले विद्वान की सलाह ली जा सकती है। यह भी पढ़ें : प्रसिद्ध वैष्णो देवी शक्तिपीठ सदृश रामायण-महाभारतकालीन द्रोणगिरि वैष्णवी शक्तिपीठ दूनागिरि

(डॉ. नवीन जोशी) आज के अन्य नवीन समाचार पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।

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