बोले पूर्व राज्यपाल, केंद्रीय नेतृत्व कहेगा तो करेंगे लोस चुनाव में भाजपा के लिये प्रचार
नवीन समाचार, नैनीताल, 5 नवंबर 2023। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी रविवार को नैनीताल के ऐतिहासिक डीएसए-फ्लैट्स मैदान पहुंचे और यहां महाराष्ट्र की नवी मुंबई के यूनाइटेड स्पोर्ट्स द्वारा लॉन टैनिस की बॉल से खेली जाने वाली दो दिवसीय क्रिकेट प्रतियोगिता में बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुये।
इस दौरान राजनीतिक टिप्पणी करते हुये कोश्यारी ने कहा कि अगर भाजपा का केंद्रीय नेतृत्व कहेगा तो वह 2024 के लोक सभा चुनाव में पार्टी के लिए प्रचार करेंगे। इस दौरान उन्होंने मैदान में मौजूद खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन किया और उनके साथ फोटो खिंचवाने के लिए आयोजन की सफलता हेतु शुभकामनायें दीं। बताया गया कि इस प्रतियोगिता में महाराष्ट्र की 6 टीमें नैनीताल में लॉन टैनिस की बॉल से क्रिकेट मैच खेलेंगी।
इस अवसर पर श्री कोश्यारी ने उत्तराखंड के खिलाड़ियों के बारे में कहा कि वह अंतराष्ट्रीय स्तर पर अपना व प्रदेश का रोशन कर रहे हैं। कहा की राज्य में खिलाड़ियों में एवं खिलाड़ियों के लिये अपार संभावनाए उपलब्ध हैं। इस दौरान वह स्थानीय भाजपा विधायक सरिता आर्य के साथ बच्चों को गोद में लिये व उनसे लाड़ करते भी नजर आये। उल्लेखनीय है कि इस अपनी तरह की अनूठी प्रतियोगिता में नैनीताल की ‘रन टु लिव’ भी सहयोग कर रही है।
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नवीन समाचार, नैनीताल, 12 फरवरी 2023। महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उनके साथ ही लद्दाख के उपराज्यपाल राधा कृष्णन माथुर ने भी अपने पद से त्यागपत्र दे दिया है। उनके इस्तीफों को देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने स्वीकार भी कर लिया है। उल्लेखनीय है कि कोश्यारी लंबे समय से इस्तीफे की पेशकश कर रहे थे। आगे वह उत्तराखंड की राजनीति में सक्रिय होंगे, इसकी संभावना से इंकार नहीं किया जा रहा है। यह भी पढ़ें : नैनीताल के बाजार क्षेत्र में बड़ा अग्निकांड….
राष्ट्रपति ने महाराष्ट्र सहित देश के 13 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में बड़ा फेरबदल करते हुए राज्यपाल एवं उप राज्यपालों को बदल दिया है।राष्ट्रपति ने झारखंड के राज्यपाल रमेश बैस को महाराष्ट्र का नया राज्यपाल नियुक्त किया है। इसके अलावा गुलाब चंद कटारिया को असम, पूर्व केंद्रीय मंत्री शिवप्रताप शुक्ला को हिमाचल प्रदेश का राज्यपाल बनाया गया है। वहीं पूर्व केंद्रीय मंत्री शिव प्रताप शुक्ला को हिमाचल प्रदेश का राज्यपाल बनाया गया है। यह भी पढ़ें : धनी बनना चाहते हैं तो जानें बाबा नीब करौरी द्वारा बताए धनी बनने के तीन उपाय
इनके अलावा राष्ट्रपति ने अरुणाचल प्रदेश के राज्यपाल ब्रिगेडियर (रिटायर्ड) बीडी मिश्रा को लद्दाख का उपराज्यपाल, लेफ्टिनेंट जनरल कैवल्य त्रिविक्रम परनाइक (रिटायर्ड) को अरुणाचल प्रदेश का राज्यपाल, छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनुसुईया उइके को मणिपुर, मणिपुर के राज्यपाल एन. गणेशन की नागालैंड, बिहार के राज्यपाल फागू चौहान को मेघालय और हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर को बिहार नियुक्त किया है। यह भी पढ़ें : 15 वर्षीय नाबालिग से अपने ही सगे पिता व भाई ने की थी हैवानियत, मिली ऐसी सजा…
आदित्य ठाकरे ने बताई बड़ी जीत
Big win for Maharashtra!
The resignation of anti Maharashtra Governor has finally been accepted!He, who constantly insulted Chhatrapati Shivaji Maharaj, Mahatma Jyotiba Phule & Savitri bai Phule, our Constitution, Assembly & democratic ideals, cannot be accepted as a Governor!
— Aaditya Thackeray (@AUThackeray) February 12, 2023
भगत सिंह कोश्यारी के इस्तीफे को आदित्य ठाकरे ने महाराष्ट्र के लिए बड़ी जीत बताया है। आदित्य ठाकरे ने ट्वीट कर लिखा है, ‘महाराष्ट्र के लिए बड़ी जीत, महाराष्ट्र विरोधी राज्यपाल का इस्तीफा मंजूर हुआ। छत्रपति शिवाजी महाराज, महात्मा ज्योतिबा पुले और सावित्री बाई फुले, संविधान, विधानसभा और लोकतांत्रिक आदशों का लगातार अपमान करने वाले को राज्यपाल के रूप में स्वीकार नहीं किया जा सकता है। (डॉ.नवीन जोशी) आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।
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नवीन समाचार, मुंबई, 23 जनवरी 2023। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने महाराष्ट्र के राज्यपाल के पद से हटने की इच्छा जताई है। कोश्यारी ने सोमवार को ट्वीट के माध्यम से यह जानकारी सार्वजनिक करते हुए कहा है, ‘मैंने पीएम को अपनी सभी राजनीतिक जिम्मेदारियों से मुक्त होने की इच्छा से अवगत कराया है। राज्यपाल ने कहा है कि उन्होंने हालिया मुंबई यात्रा के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को राजनीतिक जिम्मेदारियों से हटने की अपनी इच्छा के बारे में बताया है। वहीं राजभवन की और से जारी बयान में कहा गया, ‘राज्यपाल कोश्यारी ने अपना शेष जीवन पढ़ने, लिखने और अन्य इत्मीनान की गतिविधियों में बिताने की इच्छा व्यक्त की है।’ यह भी पढ़ें : बच्चे के साथ सफर कर रही महिला से चलती ट्रेन में सामूहिक दुष्कर्म
During the recent visit of the Hon'ble Prime Minister to Mumbai, I have conveyed to him my desire to be discharged of all political responsibilities and to spend the remainder of my life in reading, writing and other activities.
— Governor of Maharashtra (@maha_governor) January 23, 2023
ट्विटर पर दिए अपने बयान में कोश्यारी ने कहा है, ‘महाराष्ट्र जैसे महान राज्य-संतों, समाज सुधारकों और बहादुर सेनानियों की भूमि के राज्य सेवक या राज्यपाल के रूप में सेवा करना मेरे लिए पूर्ण सम्मान और सौभाग्य की बात थी। पिछले तीन साल से ज्यादा समय के दौरान महाराष्ट्र की जनता से मिले प्यार और स्नेह को वह कभी नहीं भूल सकते। उन्हें प्रधानमंत्री से हमेशा प्यार और स्नेह मिला। यह भी पढ़ें : ब्रेकिंग: बदले नैनीताल के कोतवाल, फिर बनाए गए
उल्लेखनीय है कि कोश्यारी पर पिछले दिनों मराठा क्षत्रप शिवाजी महाराज पर दिए बयान के बाद से इस्तीफा देने का दबाव पड़ रहा था। इसके बाद उन्होंने पिछले माह केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पत्र लिखकर शिवाजी महाराज पर अपनी टिप्पणी पर खेद जाहिर किया था। इसके अलावा अमित शाह से पूछा था कि वह अब क्या करें ? यह भी पढ़ें : घर में साथ मृत मिले युवक व शादीशुदा युवती, एक-दूसरे को जहर के इंजेक्शन लगाकर की खुदकुशी, लिखा ‘बाय एवरीवन…’
इससे पहले जुलाई 2022 में उन्होंने कहा था कि अगर महाराष्ट्र से गुजराती और राजस्थानी हट जाएंगे तो मुंबई देश की आर्थिक राजधानी होने का अपना स्टेट्स खो देगी। उनकी इस टिप्पणी पर भी सभी पार्टियों ने कड़ी प्रतिक्रिया दी थी। बाद में उन्होंने एक माफीनामा जारी करते हुए कहा था कि मुंबई के विकास में कुछ समुदायों के योगदान की सराहना करते हुए शायद मैंने गलती की। (डॉ.नवीन जोशी) आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।
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नवीन समाचार, नई दिल्ली, 12 दिसंबर 2022। लगातार कई विवादों के बाद महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने अपने त्याग पत्र की पेशकश कर दी है। मीडिया में ऐसी चर्चाएं हैं, हालांकि इस बारे में कोई अधिकृत जानकारी प्राप्त नहीं हुई है। बताया जा रहा है कि पिछले दिनों छत्रपति शिवाजी महाराज पर उनके द्वारा की गई टिप्पणी के विवादों में आने और इस मामले में विपक्ष के लगातार कड़े रुख व खासकर इधर प्रस्तावित मार्च के बाद राज्यपाल कोश्यारी ने गत 6 दिसंबर को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को चिट्ठी लिखकर अपनी परेशानी बताई है, और पद से त्याग पत्र देने की पेशकश की है। यह भी पढ़ें : भारी पड़ा अपनी पत्नी से उसकी इच्छा के विरुद्ध शारीरिक संबंध बनाना, मिली बड़ी सजा…
मीडिया में आ रही और सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार राज्यपाल कोश्यारी ने गृह मंत्री को लिखी चिट्ठी में कहा है कि उन्होंने जब से महाराष्ट्र के राज्यपाल का पदभार ग्रहण किया है तभी से वह महाराष्ट्र के महापुरुषों के दर्शन करते रहे हैं और उन्होंने कभी महापुरुषों का अपमान नहीं किया। इधर मीडिया ने उनके बयानों को तोड़ मरोड़ कर पेश किया। इससे विवाद पैदा हुआ है। ऐसे में वह पशोपेश में हैं कि आखिर क्या करें। यह भी पढ़ें : डॉक्टर को पेट दर्द दिखने गई छात्रा, उसने कर दिया दुष्कर्म, , निबंधित, संबद्ध, मुकदमा दर्ज….
कोश्यारी ने चिट्ठी में लिखा है कि जब वह सक्रिय राजनीति से दूर हो गए थे तो केंद्र सरकार ने उन्हें महाराष्ट्र का राज्यपाल बना कर भेजा था। लेकिन जब वह महाराष्ट्र के महापुरुषों के बारे में बातचीत करते हैं तो उन्हें आलोचनाओं का शिकार होना पड़ रहा है। ऐसे में अमित शाह बताएं कि उन्हें क्या करना चाहिए। यह भी लिखा है कि विपक्षी दल तो उनका विरोध कर ही रहे हैं लेकिन भाजपा के सांसद उदयनराजे भोसले और मराठा आरक्षण समाज के लोग भी उनके इस्तीफे की मांग कर रहे हैं। यह भी पढ़ें : दुःखद समाचार: बेटी की शादी में नाचते-नाचते पिता की हुई मौत
गौरतलब है कि कुछ दिन पहले महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार और कांग्रेस के नेता राज्यपाल कोश्यारी के बयान को लेकर उन पर निशाना साध चुके हैं और उन्हें हटाए जाने की मांग कर चुके हैं। एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार ने कहा था कि यह पहला मौका नहीं है कि राज्यपाल कोश्यारी ने महाराष्ट्र की जनता की भावनाओं से खिलवाड़ किया हो। इससे पहले भी उन्होंने सावित्री बाई फुले और मराठी-गुजरातियों को लेकर विवादास्पद बयान दिया था। इससे महाराष्ट्र की जनता में पहले से ही काफी गुस्सा है। यही कारण है कि महाराष्ट्र के सभी विपक्षी दलों ने 17 दिसंबर को राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के खिलाफ एक बड़े लॉन्ग मार्च का आयोजन किया है जिसमें उन्हें राज्यपाल पद से हटाने की मांग की जाएगी। यह भी पढ़ें : नर्सिंग की छात्रा से रिश्तेदार युवक ने किया दुष्कर्म, अश्लील वीडियो भी किया वायरल…
कोश्यारी ने खत में लिखा है कि उन्होंने कभी भी छत्रपति शिवाजी महाराज या फिर दूसरे महापुरुषों पर कोई ऐसी टिप्पणी नहीं की है जिससे विवाद हो। मीडिया में उनके बयान को काट-छांट करके चलाया जा रहा है। इसकी वजह से लोगों में गलतफहमियां पैदा हुई हैं। यह भी पढ़ें : रोहित शर्मा की जगह भारतीय टेस्ट क्रिकेट टीम में चुने गए उत्तराखंड के धाकड़ बल्लेबाज अभिमन्यु ईश्वरन
इस पत्र में कोश्यारी ने छत्रपति शिवाजी महाराज का जिक्र करते हुए कहा है कि जब कोरोना काल में पूरा देश बंद था तो वह महाराष्ट्र के शिवनेरी, सिंहगढ़, प्रतापगढ़ और रायगढ़ किलों पर हेलीकॉप्टर से नहीं बल्कि अपनी गाड़ी से और पैदल चलकर गये थे। ऐसे में इन महापुरुषों के अपमान का कोई सवाल ही पैदा नहीं होता है। कोश्यारी ने लिखा है कि पिछले 30 सालों में वह महाराष्ट्र के ऐसे पहले राज्यपाल हैं जिन्होंने इन किलों पर जाकर महापुरुषों के दर्शन किए हैं। छत्रपति शिवाजी महाराज मेरे हमेशा प्रेरणा स्रोत रहे हैं। यह भी पढ़ें : नशे के लिए कर दी कुमाऊं कमिश्नर के भाई सहित अन्य की कारों के शीशे तोड़ कर चोरी, 2 गिरफ्तार…
कोश्यारी ने लिखा है कि साल 2016 में उन्होंने घोषणा की थी कि वह ना तो कोई चुनाव लड़ेंगे और ना ही कोई राजनीतिक पद लेंगे लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रेम की वजह से उन्होंने महाराष्ट्र के राज्यपाल का पद संभाला था। कोश्यारी ने आगे लिखा है कि उन्हें माफी मांगने में कभी कोई गुरेज नहीं है लेकिन वह छत्रपति शिवाजी महाराज, महाराणा प्रताप और गुरु गोविंद जैसे महानुभावों का अपमान करने के बारे में कभी सोच भी नहीं सकते। इसलिए उचित सलाह के लिए वह यह खत लिख रहे हैं। (डॉ.नवीन जोशी) आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।
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नवीन समाचार, नैनीताल, 30 अक्टूबर 2020। नगर के भाजपा नेता महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के आमंत्रण पर महाराष्ट्र पहुंचे और महाराष्ट्र राजभवन में राज्यपाल कोश्यारी से मुलाकात की। एक दिन वहां रुकने के उपरांत कार्यकर्ता नई दिल्ली स्थित महाराष्ट्र सदन में भी रुके और अब मुख्यालय लौट रहे हैं।
महाराष्ट्र के राज्यपाल कोश्यारी से मिलने के उपरांत भाजपा के पूर्व नगर अध्यक्ष मनोज जोशी ने बताया कि उन्होंने श्री कोश्यारी से उनके स्वास्थ्य की जानकारी ली, तथा उन्हें नैनीताल आने का न्यौता दिया। उन्हें बताया कि नगर एवं राज्य के कार्यकर्ता एवं लोग श्री कोश्यारी को काफी याद करते हैं। उन्होंने श्री कोश्यारी को नगर के रैमजे अस्पताल को विधायक संजीव आर्य के प्रयासों से मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत द्वारा पीपीपी मोड में देने के निर्णय की भी जानकारी दी। इस पर श्री कोश्यारी ने विधायक एवं मुख्यमंत्री की इस पहल के लिए प्रशंसा की, तथा राज्य की राजनीति पर चर्चा करते हुए विश्वास जताया कि राज्य में त्रिवेंद्र सिंह रावत की अगुवाई में भाजपा सरकार आगामी विधानसभा चुनाव जीत कर वापस लौटेगी। राज्यपाल कोश्यारी ने कार्यकर्ताओं को बताया कि उनका इस बीच अपने पैतृक क्षेत्र में एक पूजा आयोजन के लिए आना था, किंतु किन्ही कारणों से फिलहाल इस कार्यक्रम के लिए उनका आना स्थगित हो गया। राज्यपाल से मिलने वालों में भारतीय जनता युवा मोर्चा के कार्यकर्ता विकास जोशी, अभय बवाड़ी व सूरज मेहरा शामिल रहे।
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नवीन समाचार, मुंबई, 12 जुलाई 2020। मुंबई में सदी के महानायक कहे जाने वाले अमिताभ बच्चन व उनके पुत्र अभिषेक बच्चन के बाद उनकी बहु ऐश्वर्या और पोती आराध्या को भी कोरोना की पुष्टि हो गई है। वहीं कोरोना महाराष्ट्र के राजभवन भी पहुंच गया है। राजभवन में 18 कर्मचारियों को कोरोना की पुष्टि होने से हड़कंप मच गया है। ऐसे में पहले राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी के भी खुद को आइसोलेट करने की खबरें आ रही थीं, लेकिन राज्यपाल कोश्यारी ने साफ किया है कि उनका कोरोना टेस्ट नेगेटिव आया है। उन्होंने बताया है कि वह पूरी तरह से ठीक हैं। और सेल्फ आइसोलेशन में नहीं हूं। उन्होंने बताया कि मैंने अपना कोरोना टेस्ट कराया है, जिसका रिजल्ट नेगेटिव आया है। उनमें कोरोना के कोई लक्षण नहीं हैं। गौरतलब है कि बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) के सूत्रों ने रविवार को बताया कि महाराष्ट्र के राजभवन के 18 कर्मचारी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं। इसके बाद से ही उनके स्वास्थ्य को लेकर खबरें आ रही थीं।
उल्लेखनीय है कि बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) के सूत्रों ने रविवार को बताया कि महाराष्ट्र के राजभवन के 18 कर्मचारी कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं। इस बीच खबरें आईं कि राज्यपाल भगत सिंह ने खुद को आइसोलेट कर लिया है। आधिकारिक सूत्रों ने रविवार को बताया था कि महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने राजभवन में 18 कर्मचारियों के कोरोना पॉजिटिव निकलने के बाद खुद को आइसोलेट कर लिया है। सूत्रों ने बताया है कि राजभवन में कोरोना पॉजिटिव पाए गए 18 कर्मचारियों का नगर निगम दोबारा कोरोना टेस्ट कराएगा। हालांकि, राजभवन में संक्रमण का स्रोत स्पष्ट नहीं है। नागरिक स्वास्थ्य दल दक्षिण मुंबई में राजभवन परिसर में विभिन्न निवारक उपाय करने में लगे हुए हैं। उल्लेखनीय है कि ताजा आंकड़ों के अनुसार महाराष्ट्र में अब तक कोरोना वायरस कुल 2,46,600 मामले सामने आ चुके हैं। यहां कुल मामलों में से 99,499 सक्रिय मामले हैं जबकि 1,36,985 लोगो कोरोना से ठीक होकर अस्पताल से डिस्चार्ज हो चुके हैं। महाराष्ट्र में कुल 10,116 लोगों की मौत कोरोना वायरस के कारण मौत हो चुकी है।
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नवीन समाचार, नई दिल्ली, 27 नवंबर 2019। सूत्रों के हवाले से राजनीति से जुड़ी एक बड़ी खबर आ रही है। संभावना है कि महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को जल्द ही वहां से हटाया जा सकता है और उनकी जगह किसी और को राज्यपाल बनाया जा सकता है, और उन्हें कहीं और भेजा जा सकता है। ऐसा महाराष्ट्र में हुई राजनीतिक उठापटक व छीछालेदर के डैमेज कंट्रोल के रूप में किया जा सकता है।
उल्लेखनीय है कि राज्यपाल राष्ट्रपति के प्रतिनिधि होते हैं। उनका किसी राजनीतिक दल से कोई संबंध नहीं होता। कोश्यारी भी राज्यपाल बनते ही भाजपा से इस्तीफा दे चुके हैं। उन्होंने महाराष्ट्र में जो भी किया, उस पर सवाल उठे हैं। इसे देखते हुए राष्ट्रपति की ओर से उन्हें बदला जा सकता है, ताकि अच्छा संदेश जाए।
उल्लेखनीय है कि भाजपा की महाराष्ट्र में बड़ी छीछालेदर हुई है। आनन-फानन में राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी ने सीएम और डिप्टी सीएम को शपथ दिलाई थी उससे भाजपा पर ज्यादा दाग लगे। इस पूरे राजनीतिक घटनाचक्र में कोश्यारी की होशियारी सवालों के घेरे में आ गई। मालूम हो कि कोश्यारी को हाल ही में महाराष्ट्र का राज्यपाल नियुक्त किया गया था। यदि ऐसा हुआ तो यह कोश्यारी व उनके समर्थकों के साथ ही उनके गृह प्रदेश उत्तराखंड के लिए भी झटका होगा, जहां से गिने-चुने लोग ही राज्यपाल के सम्मानित पद तक पहुंच पाए हैं।
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नवीन समाचार, देहरादून 5 सितंबर 2019। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री एवं वरिष्ठ भाजपा नेता भगत सिंह कोश्यारी ने गुरुवार 5 सितंबर की शाम 6 बजे राजभवन में शपथ ग्रहण कर ली है।महाराष्ट्र पहुंचते ही कोश्यारी मराठी रंग में रंगे दिखे। शपथ लेते हुए कोश्यारी ने परिधान तो पर्वतीय ही पहने थे किंतु उनकी जुबान पर मराठी थी। उन्होंने मराठी में शपथ ली।
देखें कोश्यारी के महाराष्ट्र के राज्यपाल पद की शपथ लेने का एक्सक्लुसिव वीडियो :
कोश्यारी जी राज्यपाल पद का गौरव व गरिमा आगे बढ़ाएंगे, इस उम्मीद व आकांक्षा के साथ असीम हार्दिक बधाइयां एवं शुभकामनाएं…
देखें कोश्यारी के मुंबई पहुंचने का एक्सक्लुसिव वीडियो :
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नवीन समाचार, देहरादून 2 सितंबर 2019। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री एवं वरिष्ठ भाजपा नेता भगत सिंह कोश्यारी ने महाराष्ट्र का राज्यपाल नियुक्त होने के बाद अपनी-भारतीय जनता पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष अजय भटट को इस संबंध में एक पत्र लिखकर कोश्यारी ने संवैधानिक जिम्मेदारी संभालने के मददेनजर उनसे इस्तीफा स्वीकार करने का आग्रह किया, जिसे स्वीकार कर लिया गया है।
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नवीन समाचार, नैनीताल, 1 सितंबर 2019। उत्तराखंड के वरिष्ठ भाजपा नेता भगत सिंह कोश्यारी को देश के बड़े प्रांत महाराष्ट्र का नया राज्यपाल बनाया जा रहा है। उनकी नियुक्ति सी विद्यासागर राव के स्थान पर की जा रही है, जिनका पांच वर्ष का कार्यकाल 30 अगस्त 2019 को समाप्त हो गया है। बताया जा रहा है कि हल्द्वानी में अपने आवास में मौजूद कोश्यारी को इस संबंध में सूचना आ गई है। पुख्ता मानी जा रही इस सूचना से भाजपाइयों में हर्ष का माहौल व्याप्त हो गया है। लोग एक दूसरे को एवं श्री कोश्यारी को बधाइयां दे रहे हैं। कोश्यारी ने अपना मोबाइल फोन बंद कर लिया है। वे स्वर्गीय नारायण दत्त तिवारी के बाद उत्तराखंड से राज्यपाल बनने वाले देश के दूसरे राजनेता तथा अल्मोड़ा निवासी भैरव दत्त पांडे के बाद तीसरे व्यक्ति होंगे। आधुनिकता के दौर में भारतीय संसद के साथ देश-विदेश की यात्राओं में अपनी पहाड़ी टोपी व धोती के साथ ही बोलचाल में पहाड़ी-कुमाउनी पुट कोश्यारी की विशिष्टताओं में शामिल है।
Kalraj Mishra, Governor of Himachal is transferred & appointed as Governor of Rajasthan. Bhagat Singh Koshyari appointed as Governor of Maharashtra, Bandaru Dattatreya as Governor of Himachal, Arif Mohammed Khan as Guv of Kerala, Tamilisai Soundararajan as Governor of Telangana pic.twitter.com/oKOe8xUOOz
— ANI (@ANI) September 1, 2019
उल्लेखनीय है कि भगत सिंह कोश्यारी का जन्म 17 जून 1942 को हुआ था। आरएसएस के अनुभवी कोश्यारी ने बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और उत्तराखंड के लिए पार्टी के पहले राज्य अध्यक्ष भी रह चुके है। उन्होंने 2001 से 2002 तक उत्तराखंड (पूर्व में उत्तरांचल) के दूसरे मुख्यमंत्री के रूप में भी कार्य किया और उसके बाद, 2002 से 2007 तक उत्तराखंड विधान सभा के विपक्ष के नेता रहे। उन्होंने उत्तर प्रदेश विधान परिषद में एमए[wp-rss-aggregator]लसी के रूप में भी कार्य किया है ( जब उत्तराखंड अविभाजित उत्तर प्रदेश का हिस्सा था) और उत्तराखंड विधानसभा में विधायक के रूप में नियुक्त हुए।बाद में उत्तराखंड से 2008 से 2014 तक राज्यसभा में एक सांसद के रूप में सेवा दी और वर्तमान में नैनीताल-उधमसिंह नगर निर्वाचन क्षेत्र से 16 वीं लोक सभा में सांसद हैं। उन्हें राज्य विधायी विधानसभा और राष्ट्रीय संसद के दोनों सदनों में निर्वाचित होने का गौरव प्राप्त हुआ। नैनीताल के मौजूदा सांसद अजय भट्ट से पूर्व उनके नाम पर नैनीताल एवं उत्तराखंड मंे सर्वाधिक वोटों से जीतने का रिकार्ड रहा। उल्लेखनीय है कोश्यारी को इस चुनाव में कुल पड़े 11,01,435 मतों में से 57.78 फीसद यानी 6,36,669 मत मिले, जबकि उनके विरोध में अन्य सभी प्रत्याशियों को मिलाकर 4,64,666 वोट ही मिले थे।