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November 22, 2024

UCC Passed in Dhami Cabinet-1 : यूसीसी पर धामी कैबिनेट में कल प्रस्ताव पर नहीं हो पायी थी चर्चा, आज मिली मंजूरी, जानें क्या है प्रस्ताव में खास…

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UCC Passed in Dhami Cabinet

UCC

नवीन समाचार, देहरादून, 4 फरवरी 2024 (UCC Passed in Dhami Cabinet) । मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में मुख्यमंत्री आवास पर रविवार को 24 घंटे के भीतर आयोजित हुई मंत्रिमंडल की दूसरी विशेष बैठक में उत्तराखंड की धामी सरकार के मंत्रिमंडल ने यूसीसी यानी यूनिफार्म सिविल कोड यानी समान नागरिक संहिता के प्रस्ताव को मंजूरी (UCC Passed in Dhami Cabinet) दे दी है। अब आगामी छह फरवरी को आयोजित विधानसभा सत्र में यूसीसी का विधेयक पेश किया जाएगा।

UCC Passed in Dhami Cabinet Uttarakhand Cabinet Approval to Uniform Civil Code Bill Draft for present in Assembly Sessionउल्लेखनीय है कि इससे पूर्व शनिवार को आयोजित उत्तराखंड की धामी सरकार की मंत्रिमंडल की बैठक में किसी कारण यूसीसी के प्रस्ताव पर चर्चा ही नहीं हो पायी थी। इसके बाद आज रविवार शाम 6 बजे कैबिनेट की बैठक बुलाई गयी। इसमें यूसीसी का ड्राफ्ट पेश किया गया। इस दौरान सीएम पुष्कर सिंह धामी समेत कैबिनेट मंत्रियों ने बिल एपं पांच फरवरी से शुरू होने वाले विधानसभा सत्र तथा इसमें यूसीसी के प्रस्ताव को रखे जाने को लेकर भी चर्चा की गई।

(UCC Passed in Dhami Cabinet) समान नागरिक संहिता (यूसीसी) की बड़ी बातें

Uttarakhand Cabinet Approval to Uniform Civil Code Bill Draft for present in Assembly Sessionबता दें कि उत्तराखंड के लिए समान नागरिक संहिता (यूसीसी) का मसौदा तैयार करने वाली समिति की प्रमुख सिफारिशों में बहुविवाह और बाल विवाह पर पूर्ण प्रतिबंध, सभी धर्मों की लड़कियों के लिए विवाह योग्य समान आयु और तलाक के लिए समान आधार व प्रक्रियाएं शामिल होने की बात कही जा रही है।

आयोग ने यह सिफारिश भी की है कि लड़कों और लड़कियों को समान विरासत का अधिकार होगा, विवाह का पंजीकरण अनिवार्य किया जाएगा और लड़कियों के लिए विवाह योग्य आयु बढ़ाई जाएगी, ताकि वे शादी से पहले स्नातक तक की पढ़ाई कर सकें। सूत्रों ने कहा कि जिन जोड़ों की शादियां पंजीकृत नहीं हैं, उन्हें कोई सरकारी सुविधा नहीं मिलेगी और ग्रामीण स्तर पर विवाह पंजीकरण की व्यवस्था की जाएगी। हालांकि, मसौदा आधिकारिक तौर पर सार्वजनिक नहीं किया गया है।

समान नागरिक संहिता राज्य में सभी नागरिकों के लिए एक समान विवाह, तलाक, भूमि, संपत्ति और विरासत कानूनों के लिए एक कानूनी ढांचा प्रदान करेगी, चाहे उनका धर्म कुछ भी हो। यूसीसी लागू होने पर उत्तराखंड आजादी के बाद इसे अपनाने वाला देश का पहला राज्य बन जाएगा। गोवा में पुर्तगाली शासन के समय से ही यूसीसी लागू है।

सूत्रों ने कहा कि सिफारिशों में यह भी कहा गया है कि सभी को गोद लेने का अधिकार मिलेगा। यहां तक कि मुस्लिम महिलाओं को भी गोद लेने का अधिकार होगा और इसकी प्रक्रिया को सरल बनाया जाएगा। उन्होंने कहा कि हलाला और श्इद्दतश् की प्रथाओं पर प्रतिबंध लगाया जाएगा। इसके अलावा, ‘लिव-इन रिलेशनशिप’ के बारे में जानकारी देना अनिवार्य होगा। उन्होंने कहा कि यह एक स्व-घोषणा होगी, जिसके लिए एक कानूनी प्रारूप होगा।

कई दशक बाद धरातल पर उतरेगा यूसीसी (UCC Passed in Dhami Cabinet)

– 1962 में जनसंघ ने हिंदू मैरिज एक्ट और हिंदू उत्तराधिकार विधेयक वापस लेने की बात कही। इसके बाद जनसंघ ने 1967 के उत्तराधिकार और गोद लेने के लिए एक समान कानून की वकालत की। 1971 में भी वादा दोहराया। हालांकि 1977 और 1980 में इस मुद्दे पर कोई बात नहीं हुई।
– 1980 में भाजपा का गठन हुआ। भाजपा के पहले राष्ट्रीय अध्यक्ष अटल बिहारी वाजपेयी बने। पार्टी ने 1984 में पहली बार चुनाव लड़ा, जिसमें केवल दो सीटें मिली।

– 1989 में 9वां लोकसभा चुनाव हुआ, जिसमें भाजपा ने राम मंदिर, यूनिफॉर्म सिविल कोड को अपने चुनावी घोषणा-पत्र में शामिल किया। पार्टी की सीटों की संख्या बढ़कर 85 पहुंची।
– 1991 में देश में 10वां मध्यावधि चुनाव हुआ। इस बार भाजपा को और लाभ हुआ। उसकी सीटों की संख्या बढ़कर 100 के पार हो गई। इन लोकसभा चुनावों में भाजपा ने यूनिफॉर्म सिविल कोड, राम मंदिर, धारा 370 के मुद्दों को जमकर उठाया। ये सभी मुद्दे बीजेपी के चुनावी घोषणापत्र में शामिल थे, मगर संख्या बल के कारण ये पूरे नहीं हो पाए थे। UCC Passed in Dhami Cabinet

– इसके बाद 1996 में भाजपा ने 13 दिन के लिए सरकार बनाई। 1998 में पार्टी ने 13 महीने सरकार चलाई। 1999 में बीजेपी ने अपने सहयोगियों के साथ बहुमत से सरकार बनाई। तब अटल बिहारी वाजपेयी प्रधानमंत्री बने।
– वर्ष 2014 में पहली बार भाजपा प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता पर काबिज हुई और केंद्र में मोदी सरकार आई। मोदी सरकार ने पूरे जोर-शोर से अपने चुनावी वादों पर काम करना शुरू किया। अब केंद्र की सरकार समान नागरिक संहिता को लागू करने की दिशा में काम कर रही है। इसी कड़ी में यूसीसी को लागू कर उत्तराखंड, देश का पहला राज्य बनने की ओर अग्रसर है। UCC Passed in Dhami Cabinet

-उत्तराखंड में 2022 में भाजपा ने यूसीसी के मुद्दे को सर्वोपरि रखते हुए वादा किया था कि सरकार बनते ही इस पर काम किया जाएगा। धामी सरकार ने यूसीसी के लिए कमेटी का गठन किया। जिसने डेढ़ साल में यूसीसी का ड्राफ्ट तैयार किया। अब विधानसभा का विशेष सत्र पांच फरवरी से शुरू होने जा रहा है, जिसमें पास होने के बाद यूसीसी लागू करने वाला उत्तराखंड देश का पहला राज्य बन जाएगा। UCC Passed in Dhami Cabinet

ये हैं ड्राफ्ट के संभावित प्रावधान (UCC Passed in Dhami Cabinet)

1- लड़कियों की विवाह की आयु बढ़ाई जाएगी, जिससे वे विवाह से पहले ग्रेजुएट हो सकें। 
 2- विवाह का रजिस्ट्रेशन अनिवार्य होगा। बगैर रजिस्ट्रेशन किसी भी सरकारी सुविधा का लाभ नहीं मिलेगा। ग्राम स्तर पर भी शादी के रजिस्ट्रेशन की सुविधा होगी। 
 3- पति-पत्नी दोनों को तलाक के समान आधार उपलब्ध होंगे। तलाक का जो ग्राउंड पति के लिए लागू होगा, वही पत्नी के लिए भी लागू होगा। फिलहाल पर्सनल लॉ के तहत पति और पत्नी के पास तलाक के अलग-अलग ग्राउंड हैं। UCC Passed in Dhami Cabinet
 

4- पॉलीगैमी या बहुविवाह पर रोक लगेगी। 
 5- उत्तराधिकार में लड़कियों को लड़कों के बराबर का हिस्सा मिलेगा। अभी तक पर्सनल लॉ के मुताबिक लड़के का शेयर लड़की से अधिक है।
  6- नौकरीशुदा बेटे की मृत्यु पर पत्नी को मिलने वाले मुआवजे में वृद्ध माता-पिता के भरण पोषण की भी जिम्मेदारी होगी। अगर पत्नी पुर्नविवाह करती है तो पति की मौत पर मिलने वाले कंपेंशेसन में माता-पिता का भी हिस्सा होगा। UCC Passed in Dhami Cabinet
 

7- मेंटेनेंस: अगर पत्नी की मृत्यु हो जाती है और उसके माता पिता का कोई सहारा न हो, तो उनके भरण पोषण का दायित्व पति पर होगा।
 8- एडॉप्शन: सभी को मिलेगा गोद लेने का अधिकार। मुस्लिम महिलाओं को भी मिलेगा गोद लेने का अधिकार, गोद लेने की प्रक्रिया आसान की जाएगी। 
 9- हलाला और इद्दत पर रोक होगी। 
 10- लिव इन रिलेशनशिप का डिक्लेरेशन आवश्यक होगा। ये एक सेल्फ डिक्लेरेशन की तरह होगा जिसका एक वैधानिक फॉर्मैट लग सकती है। UCC Passed in Dhami Cabinet
 

11- गार्जियनशिप- बच्चे के अनाथ होने की स्थिति में गार्जियनशिप की प्रक्रिया को आसान किया जाएगा। 
 12- पति-पत्नी के झगड़े की स्थिति में बच्चों की कस्टडी उनके ग्रैंड पैरेंट्स को दी जा सकती है।
13- जनसंख्या नियंत्रण को अभी सम्मिलित नहीं किया गया है। UCC Passed in Dhami Cabinet

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