बड़ा समाचार : 130 करोड़ रुपये की वित्तीय अनियमितता व गबन, उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम के अधिकारियों पर छह अभियोग दर्ज

नवीन समाचार, देहरादून, 23 फरवरी 2025 (Financial Irregularities-Embezzlement of 130 Cr)। उत्तराखंड में उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम के अधिकारियों व निर्माण एजेंसियों के विरुद्ध बड़ी कार्रवाई की गई है। प्राप्त जानकारी के अनुसार राजधानी देहरादून की नेहरू कॉलोनी थाना पुलिस ने पर्यटन विभाग, आईटीआई, दून मेडिकल कॉलेज सहित विभिन्न सरकारी परियोजनाओं में वित्तीय अनियमितता, निर्माण कार्यों में गड़बड़ी व धन के दुरुपयोग के मामलों में छह अभियोग दर्ज किए हैं। जांच में सामने आया है कि वर्ष 2012 से 2018 के मध्य लगभग 130 करोड़ रुपये की अनियमितताएं व गबन किया गया।
परियोजना प्रबंधक ने दर्ज कराए अभियोग
उत्तर प्रदेश राजकीय निर्माण निगम इकाई-1 के अपर परियोजना प्रबंधक सुनील कुमार मलिक ने नेहरू कॉलोनी थाना पुलिस को शिकायत दी। उन्होंने बताया कि 2018-19 से पहले वित्तीय अनियमितताओं व गबन से जुड़े मामलों की विभागीय जांच कराई गई थी, जिसमें करोड़ों रुपये के गबन व अनियमितताओं की पुष्टि हुई। इसी आधार पर उन्होंने पुलिस में अभियोग पंजीकृत कराए।
अनियमितताओं के मामले
इसी तरह कौशल विकास एवं सेवायोजन विभाग उत्तराखंड की 15 राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (आईटीआई) की योजना के अंतर्गत एकमुश्त 1517.50 लाख रुपये की धनराशि स्वीकृत हुई थी। इसमें से छह संस्थानों- बसुकेदार, चिरबटिया, बड़ावे, थल, गंगोलीहाट व कठपुडियाछीना के लिए 600.16 लाख रुपये आवंटित किए गए थे। भूमि उपलब्ध न होने के कारण इन संस्थानों का कार्य प्रारंभ नहीं हो पाया, लेकिन इनकी धनराशि आईयूटी के माध्यम से अन्य विभागों के कार्यों में व्यय कर दी गई, जिसका समायोजन अब तक नहीं किया गया।
इस पर नेहरू कॉलोनी थाने में तत्कालीन परियोजना प्रबंधक (अतिरिक्त महाप्रबंधक के पद से सेवानिवृत्त) शिव आसरे शर्मा, तत्कालीन परियोजना प्रबंधक प्रदीप कुमार शर्मा (अतिरिक्त महाप्रबंधक के पद से सेवानिवृत्त) तथा सहायक लेखाधिकारी स्तर-2 वीरेंद्र कुमार (बर्खास्त व सेवानिवृत्त) के विरुद्ध अभियोग पंजीकृत किया गया।
अन्य वित्तीय गड़बड़ियों का खुलासा
इसी तरह आपदा राहत केंद्र के निर्माण कार्य के लिए बिना भूमि अधिग्रहण किए ही 428.00 लाख रुपये की धनराशि प्राप्त कर गबन किया गया। इस मामले में तत्कालीन परियोजना प्रबंधक प्रदीप कुमार शर्मा व सहायक लेखाधिकारी वीरेंद्र कुमार रवि के विरुद्ध अभियोग पंजीकृत हुआ।
उत्तराखंड पर्यटन विभाग के अंतर्गत बिना स्वीकृत सेंटेज के निर्माण कार्य कराए जाने से 159.85 लाख रुपये की वित्तीय अनियमितता पाई गई। इस मामले में तत्कालीन परियोजना प्रबंधक शिव आसरे शर्मा, प्रदीप कुमार शर्मा व राम प्रकाश गुप्ता के विरुद्ध अभियोग दर्ज किया गया।
विभागीय लापरवाही के गंभीर आरोप
आरोप है कि संबंधित अधिकारियों ने अपने दायित्वों का निर्वहन सही तरीके से नहीं किया। उन्होंने न केवल धनराशि का अनुचित उपयोग किया बल्कि इससे संबंधित दस्तावेजों में भी हेराफेरी की। इसके अतिरिक्त, गबन की गई धनराशि के बारे में उच्च अधिकारियों को गुमराह किया गया, जिससे सरकारी कोष को भारी आर्थिक क्षति हुई।
पुलिस जांच जारी
नेहरू कॉलोनी थाना प्रभारी ने बताया कि सभी मामलों की गहन जांच की जा रही है। अभियोग दर्ज होने के बाद अब संबंधित अधिकारियों से पूछताछ की जाएगी तथा वित्तीय अनियमितता से जुड़े अन्य पहलुओं की भी जांच की जाएगी। आवश्यकतानुसार संबंधित अधिकारियों की संपत्ति की भी जांच की जाएगी ताकि गबन की गई धनराशि की वसूली सुनिश्चित की जा सके।
भविष्य में और मामले उजागर होने की संभावना (Financial Irregularities-Embezzlement of 130 Cr)
पुलिस व संबंधित विभागों की ओर से अभी भी जांच जारी है। यह आशंका जताई जा रही है कि आगे और भी वित्तीय अनियमितताओं के मामले उजागर हो सकते हैं। (Financial Irregularities-Embezzlement of 130 Cr)
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