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March 19, 2024

(Padtal) कमिश्नर दीपक रावत की नैनीताल के एक रेस्टोरेंट में की गयी कार्रवाई से बनी भ्रम की स्थिति

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Padtal

नवीन समाचार, नैनीताल, 10 जनवरी 2024 (Padtal)। कुमाऊं कमिश्नर दीपक रावत के द्वारा मंगलवार को शहर के मल्लीताल स्थित गाड़ी पड़ाव के एक रेस्टोरेंट में अनियमितताएं पाई जाने पर की गयी कार्रवाई के निर्देश के बाद लोगों में भ्रम की स्थिति बन गयी है। देखें कमिश्नर दीपक रावत की कार्रवाई का वीडियोः

ऐसा इसलिये कि कमिश्नर रावत ने यह कार्रवाई गाड़ी पड़ाव स्थित ‘देहली दरबार’ नाम के रेस्टोरेंट के विरुद्ध की, लेकिन इसका नकारात्मक असर इससे मिलते-जुलते ‘दिल्ली दरबार’ के नाम से मालरोड पर संचालित एक अन्य रेस्टोरेंट पर देखने को मिल रहा है।

Dilli Darbar Restaurant Nainital | Nainitalमाल रोड स्थित दिल्ली दरबार के संचालक सहीद अहमद ने बुधवार को पत्रकार वार्ता कर कहा कि गाड़ी पड़ाव में देहली दरबार रेस्टोरेंट के खिलाफ कार्रवाई की गई है। लेकिन इसका असर उनके कारोबार पर पड़ा है। लोगों में भ्रम है कि दिल्ली दरबार में खामियां मिली हैं। जबकि ऐसा नहीं है। कहा कि कार्रवाई के बाद स्थानीय स्तर पर उन्हें आने वाले ऑर्डर खत्म हो गए हैं। देखें दिल्ली दरबार के स्वामी का स्पष्टीकरण:

साथ ही रेस्टारेंट में भी नुकसान हुआ है। ऐसे में उन्होंने स्पष्ट किया कि जिस रेस्टोरेंट के खिलाफ कार्रवाई की गई वह गाड़ी पड़ाव स्थित देहली दरबार था। जबकि मालरोड स्थित दिल्ली दरबार में किसी भी तरह की कमियां नहीं हैं। उन्होंने ग्राहकों से अपील की है, कि वह असमंजस की स्थिति में न रहें।

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यह भी पढ़ें : Padtal : हल्द्वानी के बहुचर्चित बाल संरक्षण गृह की नाबालिग किशोरी द्वारा लगाये गये बाहर ले जाकर दुष्कर्म कराने के आरोप निकले फर्जी…

नवीन समाचार, हल्द्वानी, 28 दिसंबर 2023। हल्द्वानी के बाल संप्रेक्षण गृह में रह रही एक नाबालिक किशोरी से दुष्कर्म का मामला पुलिस (Padtal) के अनुसार फर्जी निकला है। जनपद के एसएसपी प्रह्लाद मीणा ने बताया कि पुलिस ने इस मामले की जांच (Padtal) कर अपनी फाइनल रिपोर्ट न्यायालय में पेश कर दी है और मामले की फाइल को बंद कर दिया गया है। जबकि आरोप लगाने वाली किशोरी को परिजनों के हवाले कर दिया गया है।

विदित हो कि हल्द्वानी स्थित राजकीय महिला कल्याण एवं पुनर्वास केंद्र के बाल संप्रेक्षण गृह में रह रही एक नाबालिग किशोरी ने बाल संप्रेक्षण गृह में कार्यरत दो महिला कर्मियों, विभागीय अनुसेवक और होमगार्ड पर जांच के नाम पर बाहर ले जाकर उससे दुष्कर्म कराने का आरोप लगाया था। दावा किया था कि जहां उसके साथ यह शर्मनाक हरकत की जाती थी वहां लाल बत्ती लगी गाड़ी भी होती है।

मामला प्रकाश में आने के बाद प्रदेश की बाल विकास मंत्री रेखा आर्य ने दोनों महिला कर्मचारियों को निलंबित कर दिया था। लाल बत्ती का भी जिक्र होने से कई लोग इस मामले को राजनीति से भी जोड रहे थे। ऐसे में किशोरी के आरोपों पर बाल संरक्षण अधिकारी ने दोनों महिला कर्मचारियों के खिलाफ हल्द्वानी कोतवाली में पॉक्सो एक्ट सहित अन्य धाराओं में नामजद मामला दर्ज कर लिया था। इसके बाद पुलिस और बाल विकास विभाग ने संयुक्त रूप से मामले की जांच की।

एसएसपी मीणा ने बताया कि पुलिस और बाल संरक्षण विभाग की जांच (Padtal) में सामने आया कि पूरा प्रकरण फर्जी है। दावा किया कि आरोपी किशोरी की षड्यंत्र रचकर संप्रेक्षण गृह से बाहर निकलने की योजना थी। बताा कि बालिका नाबालिग है। इसलिए उसे उसके परिजनों को सोंप दिया गया है।

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यह भी पढ़ें (Padtal) : डीएम के हस्ताक्षरों से जारी छुट्टी के झूठे पत्र से कई बच्चों का स्कूल छूटा

Padtal Know All About To Spot Fake News- फेक न्‍यूज पहचानने के 8 तरीकेडॉ. नवीन जोशी @ नवीन समाचार, नैनीताल, 29 जुलाई 2022 (Padtal) । शुक्रवार को रात्रि से ही हो रही बारिश के बीच डीएम नैनीताल के हस्ताक्षरों से जारी छुट्टी का एक पत्र कुछ ह्वाट्सएप ग्रुपों में प्रसारित हो गया। इसका असर न केवल बच्चों पर, बल्कि विद्यालयों पर भी पड़ा। इस गफलत में कई बच्चे स्कूल नहीं जा पाए, जबकि कई स्कूल जा कर भी गेट से लौट आए। नगर के सेंट जोसफ कॉलेज के कई बच्चों ने बताया कि वह विद्यालय के गेट पर जाने के बावजूद घर को लौटे, क्योंकि उन्हें वहां भी डीएम द्वारा छुट्टी घोषित किए जाने की जानकारी दी गई।

हालांकि बाद में डीएम द्वारा जारी कथित पत्र झूठा साबित हुआ। बताया जा रहा है कि गत 20 जुलाई को की गई छुट्टी के डीएम के आदेश पत्र में काट-छांट कर बनाया गया था। इस पत्र में 29 जुलाई 2022 शनिवार को पौड़ी व नैनीताल जनपदों में मौसम विभाग द्वारा भारी से बहुत भारी व अत्यधिक भारी बारिश की संभावना के कारण अवकाश की बात लिखी गई थी। अधिकारियों ने इसकी पुष्टि नहीं की।

इस पत्र के कारण कई अन्य विद्यालयों के बच्चे भी स्कूल नहीं जा पाए। इससे कुछ के इन दिनों हो रही परीक्षाओं के भी छूटने की आशंका है। सोशल मीडिया के व्यापक प्रसार के वर्तमान दौर में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति को रोके जाने के लिए ठोस उपाय किए जाने की आवश्यकता है।

मामला संज्ञान में आने के बाद जिलाधिकारी धीराज गर्ब्याल ने जनपद के एसएसपी ने इस झूठे वायरल पत्र की प्राथमिकता के आधार पर जांच करने के लिखित आदेश दिए हैं। आदेश में कहा गया है कि पुराने पत्र से छेड़छाड़ करके की गई इस हरकत से जिला प्रशासन की छवि खराब करने का प्रयास किया गया, तथा आमजन को अनावश्यक परेशानियों का सामना करना पड़ा।

(Padtal) वर्तमान में जनपद में सक्रिय मानसून के दृष्टिगत एवं भविष्य में इसकी पुनरावृत्ति न हो, इसलिए इ प्रकरण पर प्राथमिकता के आधार पर कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

यह भी पढ़ें : पड़ताल : नैनीताल की जामा मस्जिद के बारे में सोशल मीडिया पर पोस्ट हो रही वायरल, जानें सत्यता…

Fact Check: fake claim of 1882 built jama masjid of nainital uttarakhand  viral- Fact Check: सन् 1882 में हुआ था नैनीताल की जामा मस्जिद का निर्माण,  भ्रामक दावा हो रहा वायरलडॉ. नवीन जोशी @ नवीन समाचार, नैनीताल, 30 अप्रैल 2022। इन दिनों मीडिया-सोशल मीडिया पर एक धर्म विशेष के बारे में निरंतर समाचार व नए-नए दावे प्रकाशित हो रहे हैं। नैनीताल की जामा मस्जिद के बारे में भी एक ऐसा ही दावा किया जा रहा है। ‘नवीन समाचार’ जिम्मेदार मीडिया होने के नाते इस पर स्थिति स्पष्ट करने का प्रयास कर रहा है।

उल्लेखनीय है कि फेसबुक पर 27 अप्रैल को की गई एक पोस्ट (https://www.facebook.com/photo/?fbid=363235129081684&set=gm.1199069444180679) में नैनीताल की मल्लीताल स्थित जामा मस्जिद की तस्वीर के साथ लिखा गया है: ‘यह मस्जिद देवभूमि में स्थित नैनीताल में है… करीब 20-25 वर्ष पूर्व इस मस्जिद का कोई अस्तित्व नहीं था… यह किले-महलनुमा मस्जिद, विश्वप्रसिद्ध नैनीझील और सदियों पूर्व के नैना देवी के ठीक सामने स्थित है… सुबह साढ़े 4 बजे से इस मस्जिद में लगे 16 बड़े बड़े लाऊडस्पीकर आपको बगैर जगाए नहीं मानते…

चूँकि यह सरोवर नगरी चारो तरफ से पर्वतों से घिरी हुई है तो प्रातः साढ़े 4 बजे इन 16 लाउडस्पीकरों की कर्णभेदी ध्वनि दिल के रोगियों, बी.पी के मरीजों और आसपास के अस्पतालों में भर्ती मरीजों के ऊपर कहर की तरह टूटती है… खास बात यह है कि यह मस्जिद खरीदी हुई जमीन पर नहीं है…

तत्कालीन काँग्रेस सरकार ने सैकड़ों मीटर प्राईम लैंड (बेशकीमती जमीन) मुसलमानों को उपहार (अलॉट) में देकर… इस मस्जिद का निर्माण कराया है… भारत में हर जगह यही हाल है… पूरे भारत को कब्रों मजारों पीर दरगाह मस्जिद मदरसों से भर दिया गया है।।’

इस पोस्ट के तथ्यों की जानकारी किये जाने पर पता चला कि वास्तव में यह मस्जिद 1882 में तत्कालीन ब्रिटिश सेना में मौजूद मुस्लिम सैनिकों एवं नैनीताल व इसके आसपास रहने वाले मुस्लिमों के लिए बनाई गई थी। ऐसा मस्जिद के द्वार पर अंकित है, एवं मस्जिद के फेसबुक पेज में दावा किया गया है।

अलबत्ता तब यह मस्जिद काफी छोटे स्वरूप में थी। 1970 से मस्जिद का प्रबंधन करने वाले अंजुमन इस्लामिया से जुड़े एवं 1978 से विभिन्न पदों पर रहे कांग्रेस के पूर्व दर्जाधारी रईश भाई ने बताया कि इसमें कई बार बदलाव किए गए। आजादी के बाद 1968 के आसपास इसके गेट एवं सामने की मीनारों में व भीतर सुधार कार्य हुए थे।

(Padtal) इसके बाद 1994 और राज्य बनने के बाद 2002 व 2005 में भी यहां कार्य हुए। रईश भाई ने बताया कि 2005 में हरीश रावत कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष थे और इसका पहला लिंटर पड़ने के दिन नैनीताल में ही मौजूद थे। उन्होंने सुनिश्चित किया कि नगर में किसी तरह साम्प्रदायिक सौहार्द न बिगड़े।

इस तरह ‘करीब 20-25 वर्ष पूर्व इस मस्जिद का कोई अस्तित्व नहीं’ होने का दावा पूरी तरह से गलत है। अलबत्ता, यह जरूर है कि हालिया वर्षो में इसका लगातार विस्तार हुआ है। मस्जिद में सुबह से 16 लाउडस्पीकरों की कर्णभेदी ध्वनि का दावा भी सही नहीं है। इस दावे को इसलिए भी सही नहीं ठहराया जा सकता कि यह नगर की मल्लीताल कोतवाली व कुमाऊं परिक्षेत्र के डीआईजी कार्यालय से सटी हुई है।

(Padtal) यदि यह दावा सही होता तो जरूर पुलिस के द्वारा कार्रवाई की गई होती। किंतु ऐसी कोई कार्रवाई नहीं की गई है। अलबत्ता, पूर्व में लाउडस्पीकरों की ध्वनि सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के अनुसार सीमित जरूर की गई है। आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें।

यह भी पढ़ें (Padtal) : उत्तराखंड में कितनी कठिन-कितनी आसान है नए जिले बनाने की राह

उत्तराखण्ड के जिले - विकिपीडियाडॉ. नवीन जोशी @ नवीन समाचार, नैनीताल, 24 दिसंबर 2021। उत्तराखंड में चुनाव करीब आते नये जिलों पर भी राजनीति तेज हो रही है। सत्तारूढ़ भाजपा इस मुद्दे पर चुप है लेकिन आम आदमी पार्टी और कांग्रेस ने अपनी सरकार बनने पर नए जिलों के गठन करने की घोषणाएं कर डाली हैं।

हम यहां यह पड़ताल करने की कोशिश कर रहे हैं कि उत्तराखंड में जिले बनाना कितना आसान या कठिन है। गौरतलब है कि उत्तराखंड में दो मंडल कुमाऊं व गढ़वाल हैं। कुमाऊं मंडल की स्थापना 1854 में और गढ़वाल मंडल की स्थापना 1969 में हुई। उत्तराखंड बनने के बाद ही नहीं,

(Padtal) इससे तीन वर्ष पूर्व 1997 से यानी पिछले 24 वर्षों में उत्तराखंड में एक भी नया जनपद नहीं बना है, जबकि इस बीच विधानसभा क्षेत्रों से लेकर तहसीलों व नगर निकायों की संख्या में बड़ी बढ़ोत्तरी हुई है। यहां तक कि नये गैरसेंण मंडल की घोषणा भी हुई, अलबत्ता विरोध के बाद यह घोषणा वापस ली गई।

राज्य में नए जनपदों का गठन न होने के पीछे कुछ मानक और खर्च हैं, जिस कारण नये जनपद बनाने का वादा करने वाले राजनीतिक दल भी कोई नया जनपद नहीं बना पाए हैं। उल्लेखनीय है कि पूर्ववर्ती राज्य उत्तर प्रदेश के समय में मंत्रिमंडल की मंजूरी के बाद नए जिले बनाने के संबंध में हुए निर्णय के अनुसार एक जिला बनाने के लिए उसमें कम से कम 12 विकास खंड होने चाहिए।

(Padtal) यह भी कहा गया कि एक जिले को पूरी तरह से स्थापित करने के लिए 300 करोड़ के बजट की व्यवस्था करनी होगी। अन्य मानकों को उत्तराखंड में घटाया भी जा चुका है, किंतु खर्च होने वाली धनराशि भी बड़ा मुद्दा है।

गौरतलब है कि उत्तराखंड में 10 वर्ष सत्ता में रही कांग्रेस पार्टी ने खटीमा, काशीपुर, डीडीहाट, रामनगर, कोटद्वार, यमुनोत्री, रुड़की, बीरोंखाल, गैरसैण व पुरोला को यानी दस नए जिले बनाने की घोषणा की है। इस आधार पर नए जिलों के लिए विकासखंड संबंधी मानक भी पूरे होने आसान नहीं हैं। फिर भी यदि अन्य मानक पूरे हो भी जाएं तो इन जिलों के गठन के लिए 3000 करोड़ रुपए की आवश्यकता होगी।

(Padtal) जबकि आम आदमी पार्टी ने काशीपुर, रानीखेत, डीडीहाट, रुड़की, यमुनोत्री और कोटद्वार को यानी छह नए जिले बनाने की घोषणा की है। इस हिसाब से 1800 करोड़ के बजट की आवश्यकता होगी। गौरतलब है कि उत्तराखंड वर्तमान में करीब 86 हजार करोड़ रुपए के कर्ज में दबा बताया जाता है। कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने यह भी नहीं बताया है कि वह अपने वादे निभाने के लिए धनराशि किस तरह जुटाएंगे। ऐसे में समझा जा सकता है कि राज्य में नए जिलों का गठन कितना संभव या असंभव है।

पूर्व में ऐसे हुई है नए जिले बनाने की कवायद:
गौरतलब है कि 15 अगस्त 2011 में तत्कालीन भाजपा सरकार के दौरान मुख्यमंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक ने कोटद्वार, यमुनोत्री, रानीखेत और डीडीहाट को नया जिला बनाने की घोषणा की थी। इसका शासनादेश भी हो गया था, किंतु वर्ष 2012 के विधानसभा चुनाव में भाजपा की हार के बाद कांग्रेस सत्ता में आई तो नए जिलों के गठन का मामला ठंडे बस्ते में चला गया।

(Padtal) सत्ता में आई तो कांग्रेस ने नए जिलों के गठन के लिए गढ़वाल मंडल के आयुक्त की अध्यक्षता में एक समिति का गठन किया। समिति ने राज्य में नए जिलों के गठन के लिए पूर्व में निर्धारित मानकों को शिथिल किया।

नये जिले बनाने के लिए मानक:
वर्ष 1991 की जनगणना के आधार पर नए जिलों के लिए न्यूनतम 15 लाख की आबादी का मानक था, जिसे डेढ़ से दो लाख कर दिया गया। इसी तरह न्यूनतम पांच हजार वर्ग किमी क्षेत्रफल के मानक को एक लाख हेक्टेयर, विकासखंडों की न्यूनतम संख्या को 10 से तीन, थानों की संख्या को न्यूनतम 12 से तीन और लेखपालों की न्यूनतम संख्या को 300 से घटाकर 50 कर दिया गया।

इन मानकों के आधार पर समिति ने पौड़ी गढ़वाल जिले में कोटद्वार, उत्तरकाशी जिले में यमुनोत्री, अल्मोड़ा जिले में रानीखेत और पिथौरागढ़ जिले में डीडीहाट को नया जिला बनाने की संस्तुति की थी, और प्रस्तावित नए जिलों का स्वरूप कुछ इस तरह बताया था:

1-कोटद्वार: क्षेत्रफल 142578.151 हेक्टेयर, जनसंख्या 365850, तहसील-लैंसडौन, सतपुली, कोटद्वार, धुमाकोट, यमकेश्वर। ब्लॉक-6, थाने-6, पटवारी-लेखपाल क्षेत्रों की संख्या-109, नगर पालिका-नगर पंचायतों की संख्या-03।
2-यमुनोत्री: क्षेत्रफल-283898.725 हेक्टेयर, जनसंख्या-138559, तहसील-बड़कोट, पुरोला, मोरी, ब्लॉक-03, थानों की संख्या-03, पटवारी-लेखपाल क्षेत्रों की संख्या-45, नगर पालिका-नगर पंचायतों की संख्या-03।

3-रानीखेत: क्षेत्रफल-139686.734 हेक्टेयर, जनसंख्या-322408, तहसील-रानीखेत, सल्ट, भिकियासैंण, द्वाराहाट, चौखुटिया, स्याल्दे, ब्लॉक-8, थानों की संख्या-05, पटवारी-लेखपाल क्षेत्रों की संख्या-120 व नगर पालिका-नगर पंचायतों की संख्या-3।
4-डीडीहाट: क्षेत्रफल-81304.014 हेक्टेयर, जनसंख्या-163196, तहसील-डीडीहाट, धारचूला, मुनस्यारी, थल, बंगापानी, थानों की संख्या-10, पटवारी-लेखपाल क्षेत्रों की संख्या-54, नगर पालिका-नगर पंचायतों की संख्या-2। आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें। 

यह भी पढ़ें : कोतवाल को थप्पड़ मारने की खबर पर पुलिस दर्ज कर सकती है मुकदमा

Policeman Hit The Slap To Petitioner In Police Station - रिपोर्ट दर्ज  करवाने गए प्रार्थी को पुलिसकर्मी ने थाने में जड़ा थप्पड़ | Patrika Newsडॉ. नवीन जोशी @ नवीन समाचार, नैनीताल, 9 अगस्त 2021। इंटरनेट मीडिया पर रविवार को नैनीताल जनपद के एक कोतवाल को पर्यटक स्थल पर महिला पर्यटक द्वारा थप्पड़ जड़ने और महिला के उच्चतम न्यायालय में वकालत करने वाले पति द्वारा कानून का पाठ पढ़ाने की खबर पुलिस एवं पत्रकारों के बीच चर्चा का विषय रही। समाचार में कोतवाल के लिए ‘चुलबुल पांडे’ और उनके द्वारा पत्रकारों को यह खबर प्रचारित व प्रसारित न करने की बात भी लिखी गई थी।

इस समाचार पर नगर कोतवाल ने समाचार के साथ प्रकाशित नंबर पर फोन कर जानकारी ली, लेकिन सम्बंधित व्यक्ति इसका कोई आधार नहीं बता पाए और इसके बाद इस समाचार को इंटरनेट से हटा दिया गया, और इस प्रकाशित करने पर खेद प्रकट भी किया गया।

अलबत्ता नगर कोतवाल अशोक कुमार सिंह ने कहा कि इस समाचार से बिना कारण पुलिस विभाग की छवि खराब हुई है, इसलिए मामले में आईटी एक्ट के तहत मुकदमा पंजीकृत किया जा रहा है। उधर, एससी-क्राइम देवेंद्र पींचा की ओर से बताया गया है कि इस समाचार पर जनपद के सभी कोतवालों से जानकारी ली गई, परंतु इस बारे में कोई सत्यता प्रकाश में नहीं आई। आज के अन्य ताजा ‘नवीन समाचार’ पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें। 

यह भी पढ़ें : यह क्या कह रहे हैं मुख्यमंत्री जी, इटली की जनसंख्या बताई दोगुनी, मरे बताए 50 गुने, यह भी कहा-दो बच्चे क्यों पैदा किए-20 करते…

डॉ. नवीन जोशी @ नवीन समाचार, देहरादून, 21 मार्च 2021। मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत की जुबान सार्वजनिक मंचों पर लगातार फिसल रही है। पहले सार्वजनिक मंच पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का भगवान राम की तरह मंदिर बनाने की बात, फिर फटी जींस का विवाद और अब मुख्यमंत्री ने आज रामनगर में जो कहा वह भी विवाद का कारण बन जाए तो आश्चर्य नहीं।

(Padtal) इस दौरान लॉकडाउन में मुफ्त बटे अनाज पर चर्चा करते हुए मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि इस दौरान लोग शिकायत कर रहे थे कि दो बच्चों वालों को 10 किलो, जबकि 20 बच्चों वालों को एक क्विंटल अनाज क्यों दिया। उन्होंने बिना किसी जाति-धर्म का नाम लेते हुए कहा, ‘भैया इसमें दोष किसका है, उसने 20 पैदा किए, आपने दो पैदा किए, तो उसको एक क्विंटल मिल रहा है, इसमें जलन काहे का। जब समय था तब आपने दो ही पैदा किए, 20 क्यों नहीं किए।’

देखें मुख्यमंत्री ने क्या कहा :

इसके अलावा भी मुख्यमंत्री रावत अपने संबोधन में कई बार तथ्यात्मक गलतियां करते सुनाई दिए। उन्होंने कहा कि भारत 200 साल तक अमेरिका का गुलाम रहा। उनकी मृत्यु दर पौने तीन लाख से अधिक चली गई।

(Padtal) यहां बता दें कि अमेरिका में मृत्यु दर नहीं अलबत्ता कोरोना से मरने वालों की संख्या 5.54 लाख से अधिक हो गई है। वहीं यदि इंग्लैंड की बात भी करें तो इंग्लैंड में 1.26 लाख यानी करीब सवा लाख से अधिक लोगों की ही कोराना की वजह से मृत्यु हुई है, पर मुख्यमंत्री मृतकों की संख्या को मृत्यु दर बताते हुए अमेरिका की मृत्यु दर पौने तीन लाख से अधिक बता गए।

(Padtal) इसके अलावा इटली का नाम लेते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वास्थ्य सुविधाओं में नंबर-1 होते हुए भी 12 करोड़ की आबादी के देश इटली की मृत्यु दर 50 लाख से भी आगे चली गई है, और फिर से लॉक डाउन की ओर जा रहा है। यहां बता दें कि इटली की जनसंख्या मुख्यमंत्री बताई गई संख्या की करीब आधी यानी 6 करोड़ से कुछ अधिक है, और यहां एक लाख चार हजार लोगों की ही यानी मुख्यमंत्री रावत द्वारा बताई गई संख्या का करीब 50वें हिस्से के बराबर मौतें हुई हैं।

यह भी पढ़ें : किसान आंदोलन में नैनीताल जनपद के किसान की मौत की अफवाह, नैनीताल पुलिस ने दी कार्रवाई की चेतावनी

नवीन समाचार, नैनीताल, 26 जनवरी 2021। सोशल मीडिया पर बड़ी तेजी से अफवाह फैली है कि दिल्ली में किसान आंदोलन के दौरान जिस एक किसान की मौत हुई है मृतक नवरीत ंिसह नैनीताल जनपद के रामनगर का निवासी है। इस पर नैनीताल पुलिस ने साफ कर दिया है कि यह महज झूठी अफवाह है। वास्तव में नवरीत सिंह पुत्र साहब सिंह ग्राम डिबडिबा जिला रामपुर,यूपी का निवासी है। उसके नैनीताल या उत्तराखंड का होने की सूचना पूर्णरूप से गलत एवं भ्रामक है।

(Padtal) लोग ऐसी किसी भी झूठी अफवाहों पर ध्यान ना दें व शहर, गाँव का माहौल खराब न करने दें। यह भी कहा गया है कि जनपद नैनीताल पुलिस की सोशल मीडिया सेल द्वारा लगातार मॉनिटरिंग की जा रही है, तथा सोशल मीडिया के प्लेटफार्म पर झूठी एवं भ्रामक अफवाहें फैलाने वाले व्यक्तियों को चिन्हित कर उनके विरूद्व कठोर दण्डत्मक कार्यवाही की जा रही है।

(Padtal) सोशल मीडिया पर प्रसारित होने वाली ऐसी भ्रामक अफवाहों पर किसी भी प्रकार की प्रतिक्रिया भी न करने की सलाह देते हुए कहा गया है कि नैनीताल पुलिस सोशल मीडिया के प्लेटफार्म पर झूठी एवं भ्रामक अफवाहें फैलाने वाले व्यक्तियों को चिन्हित कर उनके विरूद्व कठोर दण्डत्मक कार्यवाही की जा रही है।
देखें नैनीताल पुलिस की पोस्ट :

यह भी पढ़ें : बिग ब्रेकिंग: 29 से लॉक डाउन पर मुख्यमंत्री रावत ने साफ की स्थिति

नवीन समाचार, देहरादून, 26 दिसंबर 2020। उत्तराखंड में आगामी 29 नवंबर से एक बार फिर से लॉक डाउन लागू होने की अफवाह तेजी से फैली है। यहां तक कि विश्वसनीय माने जाने वाले एक समाचार चैनल ने भी इस पर खबर चला दी। इसके खिलाफ स्वयं मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत को आगे आना पड़ा है।

(Padtal) श्री रावत ने बृहस्पतिवार को बकायदा इस समाचार चैनल की क्लिपिंग को जोड़कर ट्वीट करते हुए लिखा है कि इस तरह की अफवाहों पर ध्यान न दें। सरकार ने ऐसा कोई निर्णय नहीं लिया है। साथ ही चैनल को टैग कर कहा है कि ऐसी भ्रामक खबरें फैलाने से बचें।

उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने देश के किसी भी राज्य में लॉक डाउन लागू होने के लिए केंद्र सरकार से अनुमति लेने का प्राविधान लागू किया है। यानी केंद्र सरकार की स्वीकृति लिए बिना कोई राज्य लॉकडाउन लागू नहीं कर सकता है।

यह भी पढ़ें : नगर पालिका अध्यक्ष के धरने पर विधायक ने रखे आंकड़े, बताया 1.22 करोड़ रुपए प्रतिमाह मिल रहे और वेतन पर खर्चा 1.1 करोड़

नवीन समाचार, नैनीताल, 21 सितंबर 2020। नगर पालिका अध्यक्ष सचिन नेगी द्वारा सोमवार से शुरू किये आमरण अनशन पर विधायक संजीव आर्य की ओर से प्रतिक्रिया सामने आई है। विधायक आर्य ने राज्य के वित्त सचिव अमित नेगी के गत 30 जुलाई 2020 के पत्र को साझा कर बताया है कि नैनीताल नगर पालिका को प्रति माह एक करोड़ 21 लाख 76 हजार रुपए प्रति माह यानी छह माह में 7.3056 करोड़ रुपए प्राप्त हो रहे हैं,

(Padtal) जबकि नगर पालिका का वेतन व पेंशन आदि पर खर्चा प्रतिमाह एक करोड़ 10 लाख रुपए का है। ऐसे में पालिका अध्यक्ष का नगर पालिका द्वारा कर्मचारियों के वेतन आदि न दे पाने के लिए शासन को दोषी ठहराना पूरी तरह से गलत है। उन्होंने कहा कि वित्त विभाग से अगस्त माह की किस्त अभी राज्य के किसी भी निकाय को प्राप्त नहीं हुई है और हमेशा की तरह सभी को एक साथ और जल्द ही मिलने की उम्मीद है।

नैनीताल नगर पालिका (Nagar Palika Nainital) का बड़ा एक्शन, 250 बकायेदारों की काटी आरसी…

उन्होंने कहा कि नगर पालिका अध्यक्ष राज्य बनने से अब तक की शासन पर कुल लंबित धनराशि की मांग कर रहे हैं। साथ ही अन्य निकायों से तुलना कर रहे हैं। इसके लिए उन्हें भी अन्य निकायों की तरह विभिन्न योजनाओं में अतिरिक्त धनराशि लाने के लिए अतिरिक्त प्रयास किये जाने की आवश्यकता है।

यह भी पढ़ें : व्यवसायी व बैंक कर्मी के कोरोना पॉजिटिव पाये जाने के बाद मल्लीताल में अफवाहों का बाजार गर्म..

नवीन समाचार, नैनीताल, 19 अगस्त 2020। बुधवार को नगर के मल्लीताल के एक व्यवसायी व बाजार स्थित बैंक के कर्मी के कोरोना पॉजिटिव पाये जाने के बाद नगर में अफवाहों का बाजार गर्म रहा। साथ मिल-बैठने के तर्क पर मल्लीताल बाजार के कुछ रेस्टोरेंटों व अन्य प्रतिष्ठान स्वामियों में भी कोरोना संक्रमण की अफवाह तेजी से फैली।

(Padtal) वहीं शाम को मल्लीताल के बाजारों में सेनिटाइजेशन कराने के लिए जल्दी साढ़े पांच बजे ही बंद करा देने के कारण यह अफवाह भी तेजी से फैली है कि कल यानी शुक्रवार को मल्लीताल के बाजार बंद रह सकते हैं। इस बारे में मल्लीताल व्यापार मंडल अध्यक्ष ने तो फोन नहीं उठाया, परंतु व्यापार मंडल के अन्य प्रतिनिधियों ने साफ किया है कल बाजार बंद नहीं होगा।

(Padtal) बाजार में कोई और संक्रमित नहीं है, तथा जो रैपिड एंटीजन टेस्ट में कोरोना सक्रमित पाये गये हैं, वे काफी दिनों से बाजार में नहीं आए थे और वे आज स्वयं ही स्वास्थ्य में गिरावट आने पर अपनी जांच कराने जिला चिकित्सालय गए थे। 

यह भी पढ़ें : लॉक डाउन पर मुख्यमंत्री कार्यालय से आया स्पष्टीकरण.. अफवाह फैलाने वालों पर होगी कानूनी कार्रवाई

नवीन समाचार, देहरादून, 24 जुलाई 2020। आगामी शनिवार एवं रविवार को पिछले सप्ताह की तरह लॉक डाउन लागू होने पर शंकाओं के बीच सोशल मीडिया पर प्रदेश के एक प्रतिष्ठित चैनल की खबर के स्क्रीन शॉट तथा अन्य तरीकों से उत्तराखंड के हरिद्वार, देहरादून, नैनीताल और टिहरी में 27 जुलाई से 6 अगस्त तक एक सप्ताह का लॉक डाउन लागू होने, कहीं अन्य काशीपुर में भी लॉक डाउन लागू होने की खबरें आ रही हैं।

(Padtal) इस पर प्रदेश के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के सूचना अधिकारी एवं मीडिया एडवाइजर डीएस रावत की ओर से शुक्रवार शाम खंडन जारी किया गया है। इसमें कहा गया है कि इस फेक समाचार को फोटोशॉप करके वायरल करने वालों के विरुद्ध कानूनी कार्रवाई की जा रही है।

(Padtal) वहीं राज्य के महानिदेशक अपराध एवं कानून व्यवस्था अशोक कुमार ने भी इस मामले में बयान जारी कर कहा है कि 10 दिन के लॉक डाउन की खबर पूरी तरह से झूठी है। ऐसी भ्रामक और असत्य खबरों को सोशल मीडिया में प्रचारित-प्रसारित करने वालों के विरुद्ध कठोर वैधानिक कार्रवाई की जा रही है।

(Padtal) इसके साथ ही चूंकि शनिवार एवं रविवार के सप्ताहांत के बारे में कुछ भी नहीं कहा गया है, और पिछले सप्ताह यह व्यवस्था लगातार लागू रहने की बात कही गई थी, इसलिए लगता है कि इस सप्ताह भी यह व्यवस्था लागू रहेगी, अथवा थोड़ी देर में इस पर भी कोई स्पष्टीकरण आ सकता है।

यह भी पढ़ें (Padtal) : पड़ताल (Padtal) : बड़े मीडिया हाउस का दावा-लॉक डाउन में नैनीताल के भूखे कुत्ते कर रहे नैनी झील की मछलियों का शिकार

-कुत्ते नहीं लेपर्ड कैट यानी जंगली बिल्लियां कर रहीं मछलियों का शिकार : डा. रावत 
-मरी मछलियों को ले जाते कुत्तों के वीडियो से बनाई गई है खबर
नवीन समाचार, नैनीताल, 14 मई 2020 (Padtal) बड़े मीडिया हाउस इन दिनों दावा कर रहे हैं कि उनके पास संवाददाताओं और संपादकों की बड़ी टीम है, जो समाचारों को सच्चाई परख कर ही प्रकाशित करते हैं। ऐसा ‘डिजिटल मीडिया’ के बढ़ते प्रभाव के फलस्वरूप किया जा रहा है।

(Padtal) गत 12 मई को देश के एक बड़े एवं प्रतिष्ठित अंग्रजी मीडिया हाउस ने एक कथित तौर वायरल वीडियो के आधार पर अपने प्रिंट एवं डिजिटल प्लेटफॉर्म पर समाचार प्रकाशित किया है कि नैनीताल में लॉक डाउन के प्रभाव में आवारा कुत्ते भोजन नहीं मिल पाने की वजह से नैनी झील की मछलियों को पकड़ कर उनका शिकार कर रहे हैं।

(Padtal) समाचार के अनुसार नगर के होटलों के बचे भोजन पर निर्भर नगर के आवारा कुत्ते होटलों के बंद होने की वजह से नैनी झील की मछलियों को भोजन के लिए मार रहे हैं। 

(Padtal) आपके प्रिय एवं भरोसेमंद, प्रदेश के सबसे पुराने समाचार पोर्टलों में शामिल, उत्तराखंड शासन से विज्ञापन मान्यता प्राप्त ‘नवीन समाचार’ की पड़ताल की। पड़ताल में पहले तो जिस वीडियो को वायरल बताया गया, उसके वायरल होने की ही पुष्टि नहीं हुई। नगर में सोशल मीडिया पर सक्रिय अनेक लोगों ने भी इस वीडियो को देखे जाने से इंकार किया। स्वयं जिन पर्यावरणविद् डा. अजय रावत का भी इस समाचार में उल्लेख किया, उन्होंने भी वह कथित वायरल वीडियो नहीं देखने की बात कही।

(Padtal) डा. रावत ने कहा कि कुत्तों की प्रकृति कभी भी मछलियों के शिकार करने की नहीं होती है। उन्होंने कहा कि नगर की नैनी झील वन क्षेत्र से लगी हुई है, और अक्सर ही यहां वन्य जीव पानी पीने के लिए आते हैं। इन दिनों लॉक डाउन में वन्य जीवों का झील के पास आना अधिक बढ़ गया है। खासकर गुलदार यानी लेपर्ड और लेपर्ड कैट यानी जंगली बिल्लियों की आमद बढ़ गई है। दो दिन पहले नगर के अयारपाटा के जंगल में एक लेपर्ड कैट मृत एवं उसके तीन बच्चे भी रेसक्यू किये गये हैं।

(Padtal) डा. रावत ने कहा कि वास्तव में ये लेपर्ड कैट ही झील की मछलियों का शिकार कर रहे हैं। संभवतया उनके बचे अंश ही वीडियो में कुत्ते ले जाते दिखे हों, जिसके आधार पर भी यह खबर प्रकाशित की गई। वैसे भी नगर में जिला प्रशासन, नगर पालिका एवं नैनीताल पुलिस के जवानों के द्वारा आवारा कुत्तों के भोजन का प्रबंध किया गया है। कई सामाजिक कार्यकर्ता भी आवारा कुत्तों को भोजन करा रहे हैं।

(Padtal) उल्लेखनीय है कि प्रकाशित समाचार में भी डा. रावत ने ऐसी घटना पूर्व में देखे जाने एवं नगर की पशु चिकित्सा अधिकारी ने यह वीडियो देखे जाने से इंकार करते हुए नगर के करीब 500 कुत्तों को भोजन कराये जाने की बात भी कही है। उल्लेखनीय है कि नगर में लॉक डाउन के दौरान भी कुत्तों आदि आवारा पशुओं एवं बंदर-लंगूर आदि वन्य जीवों के भोजन न मिलने की वजह पहले से अधिक हमलावर होने के तथ्य की पुष्टि भी नहीं हुई है।

यह भी पढ़ें (Padtal) : सोशल मीडिया पर मुख्यमंत्री की मृत्यु की फेक न्यूज़ से हड़कंप, डीजी ने दिये मुकदमा दर्ज करने के आदेश

नवीन समाचार, देहरादून, 6 मई 2020 (Padtal) सोशल मीडिया पर का दुरुपयोग करने की भी हद हो गयी है। कल किसी ने मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के पेज पर ही उनकी एक पोस्ट पर कमेंट में एक मॉर्फ की हुई ऐसी तस्वीर डाल दी थी, जिसमें मुख्यमंत्री रावत के चित्र पर माला डाली गई थी और प्रधानमंत्री मोदी सहित कई नेताओं को उसके पीछे भोजन करते दिखाया गया था।

(Padtal) अब एक ऐसी पोस्ट प्रकाश में आई है, जिसमें मुख्यमंत्री रावत की हृदयाघात से मृत्यु होने की बात कही है। इसके बाद उत्तराखंड पुलिस हरकत में आ गई है।

(Padtal) प्रदेश के पुलिस महानिदेशक अपराध एवं कानून व्यवस्था अशोक कुमार ने मामले में देहरादून के एसएसपी को मुकदमा दर्ज करने के आदेश दे दिए है। उन्होंने कहा है कि सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने वालों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा। ऐसे लोगों पर कठोर से कठोर कार्यवाही की जाएगी। उधर सूत्रो के अनुसार देहरादून पुलिस इस मामले में आईटी एक्ट की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज करने जा रही है।

यह भी पढ़ें (Padtal) : अफवाह फैलाने के आरोप में एक के खिलाफ मुकदमा दर्ज

दान सिंह लोधियाल @ नवीन समाचार, धानाचूली, 22 अप्रैल 2020 (Padtal) धारी तहसील की तहसीलदार नितेश डागर ने ग्राम ककोड़ निवासी नारायण सिह पुत्र नैन सिह को अफवाह फैलाने के आरोप में भारतीय दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 188, 505 व आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 54 के अंतर्गत अभियोग पंजीकृत कर दिया है।

(Padtal) धारी के एसडीएम एवं लॉक डाउन के प्रभारी अधिकारी आवश्यक व्यवस्थाएं अनुराग आर्य ने बताया कि इस व्यक्ति ने जिला आपदा कंट्रोल रूम में ग्राम ककोड़ मे बीमारी फैलने और इस बीमारी से गांव के 17 बच्चे बीमार होने की सूचना दी थी। इस पर उन्होंने तहसीलदार नितेश डागर के नेतृत्व मे स्वास्थ्य विभाग की टीम गांव में भेजी।

(Padtal) टीम के द्वारा ग्राम मे जांच की गई तो बीमारी फैलने की सूचना गलत पाई गई। इस पर तहसीलदार नितेश डागर ने गलत सूचना देने, बीमारी फैलने की अफवाह, ग्राम मे भय का माहौल फैलाने के आरोप में अभियोग पंजीकृत किया। उन्होंने कहा कि आजकल कोरोना महामारी का नाजुक दौर चल रहा है। इस दौरान किसी के भी द्वारा गलत सूचनाएं देने, किसी प्रकार की अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ कडी कार्यवाही अमल मे लाई जायेगी।

यह भी पढ़ें (Padtal) : जमातियों को पहाड़ पर देखे जाने की सूचना से मचा हड़कंप, चला सर्च अभियान..

-सफलता नहीं मिली, मंगलवार को भी जारी रहेगा सर्च अभियान
दान सिंह लोधियाल @ नवीन समाचार, धानाचूली, 6 अप्रैल 2020 (Padtal) नैनीताल जनपद की धारी तहसील के ओखलकांडा क्षेत्र में सोमवार को जमातियों के देखे जाने की सूचना से हड़कंप मच गया। क्षेत्रीय विधायक राम सिंह कैड़ा ने सूचना मिलने पर डीएम व एसएसपी नैनीताल को इसकी सूचना देकर तत्काल कार्यवाही करने की मांग की।

(Padtal) इस पर प्रशासन ने क्षेत्र में सर्च अभियान चलाया, लेकिन कोई भी संदिग्ध फिलहाल पकड़ में नहीं आया। वहीं प्रदेश के पुलिस महानिदेशक अनिल रतूड़ी की चेतावनी पर सामने आने वाले वाले जमातियों के बारे में पुलिस-प्रशासन कुछ भी बताने की स्थिति में नहीं है।

(Padtal) प्राप्त जानकारी के अनुसार सोमवार को भीमताल के विधायक राम सिंह कैड़ा को ओखलकांडा क्षेत्र में कुछ संदिग्ध लोगो को देखे जाने की सूचना मिली। इस पर विधायक ने डीएम और एसएसपी को इसकी जानकारी दी। सूचना मिलने के बाद स्थानीय प्रशासन व क्षेत्र वासियों में हड़कंप मच गया। राजस्व पुलिस और वन विभाग की टीम ने पूरे इलाके में सर्च ऑपरेशन चलाया पर सफलता हाथ नही लगी।

(Padtal) पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य सतीश सुयाल ने बताया कि हैड़ाखान क्षेत्र में दो से तीन संदिग्धों को देखे जाने और उनके पश्या व कोडार के जंगलों की तरफ निकलने की जानकारी मिली थी। वहीं सामाजिक कार्यकर्ता घनश्याम पनेरू ने कहा कि लॉक डाउन और धारा 144 लागू होने के बावजूद संदिग्ध लोग पहाड़ों में धड़ल्ले से आ-जा रहे हैं। वहीं एसडीएम विनोद कुमार ने स्वीकारा कि संदिग्ध लोगों को देखे जाने की सूचना मिली थी।

(Padtal) इस पर जंगलों में लगातार सर्च अभियान चलाया जा रहा है। अभियान कल भी जारी रहेगा। कानूनगो शकील अहमद ने भी बताया कि राजस्व उप निरीक्षकों की टीम ने कई जंगलों की खाक छान दी है, पर कोई सफलता हाथ नही लगी। स्थानीय लोगो का कहना है हो सकता है कुछ लोग डीजीपी के आज शाम तक जमातियों को सामने आने की चेतावनी से डर कर पहाड़ की तरफ रुख कर सकते है। इसी बात को लेकर पूरे क्षेत्र में हड़कंप मचा हुआ है।

यह भी पढ़ें (Padtal) : कोरोना पर कोयले वाली अफवाह फैलाने वाले को पुलिस ने किया गिरफ्तार

नवीन समाचार, बागेश्वर, 31 मार्च 2020 (Padtal) बीती 28-29 मार्च को कुमाऊं मंडल में कोरोना विषाणु से बचने के लिये घर के बांये दरवाजे के पास खोदकर कोयला निकालने व उससे टीका लगाने की अफवाह बहुत तेजी से फैली थी। इस सम्बन्ध में बागेश्वर पुलिस ने 26 वर्षीय युवक अमित मिश्रा पुत्र भुवन चन्द्र मिश्रा निवासी ग्राम जखेड़ा, तहसील गरूड़, बागेश्वर को गिरफ्तार कर लिया है।

(Padtal) उस पर आरोप है कि उसने सोशल मीडिया फेसबुक के माध्यम से फेसबुक पेज Beautiful Devbhumi Uttarakhand में घर के बाहर बांयी ओर जमीन में खोदने पर कोयला मिलने व उस कोयले को पीसकर अपने माथे पर तिलक लगाने से कोरोना वायरस नहीं होने संबंधी भ्रामक पोस्ट की थी।

(Padtal) कारोना वायरस के सम्बन्ध में भ्रामक पोस्ट करने/अफवाह फैलान पर पुलिस उपाधीक्षक बागेश्वर के निर्देशन में प्रभारी निरीक्षक कोतवाली बागेश्वर डीआर वर्मा के नेतृत्व में कोतवाली पुलिस ने अमित मिश्रा उपरोक्त को गिरफ्तार कर कोतवाली बागेश्वर में मुकदमा अपराध संख्या 50/20, धारा-188 आईपीसी व 54 आपदा प्रबन्धन अधिनियम के अन्तर्गत अभियोग पंजीकृत कर दिया है और उसे न्यायालय के समक्ष पेश कर जेल भेजने की तैयारी की जा रही है।

(Padtal) हमारा अपने पाठकों से आग्रह है कि ऐसी कोई भी अफवाह फैलाने व अफवाहों को मानने से बचें। इससे कोई फायदा नहीं होने वाला। उल्टा आप परेशानी व कानूनी जाल में फंस सकते हैं।

यह भी पढ़ें (Padtal) : बहुत तेजी से फैल रही कोरोना से मुक्ति के लिए दरवाजे के बाहर खोदने की अफवाह, रोकने की जरूरत…

नवीन समाचार, नैनीताल, 29 मार्च 2020 (Padtal) कोरोना के संक्रमण के भय के बीच लोग अफवाह फैलाने से बाज नहीं आ रहे। गत दिवस रात में सोते हुए पत्थर बन जाने के भय से लोग रात्रि में जागे, जबकि बीती रात्रि से कई लोग अपने दरवाजे के बाहर गड्ढा खोदने में लगे हुए है। ऐसा एक अफवाह के कारण हो रहा है, जिसमें कहीं सोमेश्वर तो कहीं गंगोलीहाट में सपने में देवी के द्वारा घर के बाहरी दरवाजे के बांयी ओर छोटा सा गड्ढा खोदने को कहा जा रहा है।

(Padtal) हम ऐसी किसी अफवाह का समर्थन नहीं करते हैं। हमारी अपील है कि ऐसी किसी अफवाह के झांसे में अपना समय एवं विश्वास बर्बाद न करें। अलबत्ता अफवाह के अनुसार गड्ढे में कोयले का टुकड़ा निकलेगा। उस टुकड़े से घर के सभी सदस्यों को काला टीका लगाना है, जिससे कोरोना की बीमारी नष्ट होने का दावा किया जा रहा है।

(Padtal) (Padtal) इस अफवाह पर नगर के चार्टन लॉज, सात नंबर, निकटवर्ती खुर्पाताल, नौकुचियाताल, खैरना, गरमपानी आदि स्थानों पर बड़ी संख्या में लोगों द्वारा गड्ढा खोदने पर एक समान कोयले के टुकड़े निकलने के दावे किये जा रहे हैं। कई लोगों ने उनके एवं पड़ोस के तथा दूसरे स्थानों पर रहने वाले रिश्तेदारों के घरों में ऐसे कोयले निकलने के दावे किये हैं। इस संबंध में लोग सोशल मीडिया पर भी कोयला निकलने के वीडियो व पोस्ट शेयर कर रहे हैं।

(Padtal) इस पर कुमाऊं विवि के समाजशास्त्र विभाग के पूर्व विभागाध्यक्ष व समाजशास्त्री डा. डीएस बिष्ट का कहना है कि इस नाजुक समय में किसी भी अफवाह पर ध्यान देने की जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि केवल भारत सरकार एवं विश्व स्वास्थ्य संगठन के दिशा-निर्देशों का पालन किया जाना चाहिए।

यह भी पढ़ें (Padtal) : 30 साल पुरानी अफवाहों से लोगों की नींद उड़ाने की हुई साजिश, जानें कोरोना की सच्चाई..

नवीन समाचार, नैनीताल, 23 मार्च 2020 (Padtal) । बीती रात्रि नैनीताल, हल्द्वानी व अल्मोड़ा सहित प्रदेश के कई शहरों में 30 साल पुरानी अफवाहों से लोगों की नींद उड़ाने की साजिश होती रही। खेलों से जुड़े नगर पालिका कर्मचारी मनोज कुमार ने सोमवार सुबह-सुबह बताया कि रात्रि में मुरादाबाद, हल्द्वानी व अल्मोड़ा से फोन आते रहे, जिनमें कहा गया, रात को सोएं नहीं, जागे रहें। किसी गांव में लोग सोते हुए पत्थर के हो गए हैं। इससे बचने को घरों के बाहर निकलें।

(Padtal) घरों के दरवाजों पर हल्दी से हथेलियों के निशान बनाएं। उल्लेखनीय है कि ऐसी ही अफवाहें 1980 के आखिरी दशक में चुड़ैल को लेकर भी फैलाई गई थी, अब 30 वर्ष बाद वैसी ही अफवाहें पहले ही कोरोना से डरे लोगों को डराने के लिए फैलाई जा रही हैं। ऐसी अफवाहों को सही जानकारी से दूर करने की जरूरत है।

(Padtal) कोरोना से भी डरने की नहीं कुछ दिन सतर्कता, लोगों से दूरी (Social Distancing) बरतने की जरूरत है। इस हेतु अगले कुछ दिन खास ध्यान रखने की जरूरत है। इसीलिए सरकार ने ‘लॉक डाउन’ घोषित कर दिया है। इस दौरान खुद ही घर से बाहर न निकलें, और कोरोना का नियत समय गुजर जाने दें।
चीन में कोरोना को हराने वाले चिकित्सक के इस वीडियो से जानें कोरोना की पूरी सच्चाई..

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